Move to Jagran APP

गणतंत्र दिवस की तैयारियों की समीक्षा

संवाद सहयोगी पुंछ जिला विकास आयुक्त कार्यालय पुंछ में गुरुवार को गणतंत्र दिवस की तैयारिय

By JagranEdited By: Published: Fri, 15 Jan 2021 07:42 AM (IST)Updated: Fri, 15 Jan 2021 07:42 AM (IST)
गणतंत्र दिवस की तैयारियों की समीक्षा
गणतंत्र दिवस की तैयारियों की समीक्षा

संवाद सहयोगी, पुंछ : जिला विकास आयुक्त कार्यालय पुंछ में गुरुवार को गणतंत्र दिवस की तैयारियों की समीक्षा के लिए जिला विकास आयुक्त राहुल यादव के दिशा निर्देश पर एक बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में एडीसी मुहम्मद रशीद चौधरी, एसएसपी पुंछ रोमेश अंगराज, एडीसी, डॉ. बशारत हुसैन, सीएमओ जीए मलिक, डीपीओ इस्त्रार अहमद, जिला कल्चर अधिकारी डॉ. आलमद के अलावा अन्य संबंधित विभागों के उच्च अधिकारी विशेष तौर पर उपस्थिति रहे। बैठक के दौरान जानकारी दी गई की गणतंत्र दिवस का मुख्य समारोह स्पो‌र्ट्स स्टेडियम पुंछ में आयोजित किया जाएगा। समारोह स्थल के नजदीकी इलाकों में सफाई, बिजली के साथ सुरक्षा व्यवस्था पर चर्चा की गई कार्यक्रम के दौरान सांस्कृतिक कार्यक्रम के दौरान उचित व्यवस्था पर भी चर्चा की गई। फारेस्ट एक्ट पर किया जागरूक

loksabha election banner

संवाद सहयोगी, सुंदरबनी : केंद्र सरकार द्वारा जम्मू कश्मीर राज्य को केंद्र शासित प्रदेश बनाने के बाद जहां केंद्र द्वारा के प्रकार के नए कानूनों को लागू किया जा रहा है उसी के आधार पर फॉरेस्ट राइट एक्ट जो कि विभाग में नया आया है उसका अधिकार लोगों को दिलाने के लिए विभिन्न ग्रामसभा एवं कमेटियों का आयोजन किया जा रहा है। पिछले दो दिन से सरकारी बॉयज हायर सेकेंडरी स्कूल में इस शिविर का आयोजन किया गया। जिसमें उप जिला स्तर की कमेटी एवं अन्य पंचायत स्तर पर बनाई गई कमेटियों को फॉरेस्ट राइट एक्ट के प्रति जागरूक किया जा रहा है । इसमें वन विभाग के अतिरिक्त खंड विकास विभाग के अधिकारियों को भी शामिल किया गया है।

इस मौके पर रेंज अधिकारी दीपक गुप्ता व खंड विकास अधिकारी रमन शर्मा के द्वारा फॉरेस्ट राइट एक्ट के प्रति लोगों को जागरूक किया जा रहा है । जहां बताया गया है कि सर्वप्रथम कि कमेटियों के सदस्यों को ही जागरूक किया जा रहा है। जिसमें वह जंगलों में बसने वाले लोगों को इस एक्ट के प्रति जागरूक कर अधिकार नियम एवं शर्तों के आधार पर खरे उतरते हैं। तो उन्हें जंगलों की उन जमीनों का अधिकार दिया जाएगा जहां रहते है। इसी के साथ यह भी बताया जा रहा है कि समुदाय के तौर पर बनी चर्च, मंदिर, मस्जिद गुरुद्वारा जो कि वन विभाग की सीमा रेखा में आता है, उसको भी अधिकार की मान्यता प्राप्त होगी पर शर्त है कि वह वहां पर वर्ष 2005 से पहले से बना होना चाहिए। वही ग्रामसभा के माध्यम से ही इन सभी अधिकारों को लागू किया जाएगा।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.