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Vijay Mashaal in J&K: अशोक चक्र विजेता का सम्मान करने भलवाल पहुंची विजय मशाल

देशभक्ति के जज्बे काे बल देने के लिए आई सेना की विजय मशाल अशोक चक्र विजेता हवलदार सरकारी लाल का सम्मान करने के लिए वीरवार को अखनूर के निकट भलवाल गांव पहुंची।जम्मू शहर के बाहरी दोमाना मिलिट्री स्टेशन से वीरवार को विजय मशाल को सीमावर्ती परगवाल में ले लाया गया।

By Vikas AbrolEdited By: Published: Thu, 29 Apr 2021 07:15 PM (IST)Updated: Thu, 29 Apr 2021 07:25 PM (IST)
अशोक चक्र विजेता को श्रद्धांजलि देने के साथ उनके परिजनों को सम्मानित किया।

जम्मू, राज्य ब्यूरो । देशभक्ति के जज्बे काे बल देने के लिए आई सेना की विजय मशाल अशोक चक्र विजेता हवलदार सरकारी लाल का सम्मान करने के लिए वीरवार को अखनूर के निकट भलवाल गांव पहुंची।

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स्वर्णिम विशाल मशाल लेकर आए लाले द बाग मिलिट्री स्टेशन आए सेना के अधिकारियों व जवानों ने अखनूर के निकट भलवाल जाकर अशोक चक्र विजेता को श्रद्धांजलि देने के साथ उनके परिजनों को सम्मानित किया। वर्ष 1971 के एतिहासिक भारत-पाकिस्तान युद्ध में 16 दिसंबर को शक्करगढ़ सेक्टर में शहादत देने वाले हवलदार सरकारी लाल को उनकी वीरता के लिए वर्ष 1959 में शांतिकाल के सर्वोच्च वीरता पदक अशोक चक्र से सम्मानित किया गया था।

इस बीच जम्मू शहर के बाहरी दोमाना मिलिट्री स्टेशन से वीरवार को विजय मशाल को सीमावर्ती परगवाल में ले लाया गया। इससे पूर्व मिलिट्री स्टेशन में हुए कार्यक्रम में सेना के जवानों के साथ एनसीसी कैडेटों ने हिस्सा लिया। सेना के बैंड ने देशभक्ति से ओतप्रोत धुनें पेश कर समा बांधा।

जम्मू के पीआरओ डिफेंस लेफ्टिनेंट कर्नल देवेन्द्र आनंद ने बताया कि विजय मशाल दोमाना क्षेत्र में कार्यक्रमों के बाद कुछ दिन बाद अखनूर में सेना की क्रॉसड स्वार्डस डिवीजन के इलाके में चला जाएगी। उन्होंने बताया कि ग्रामीण इलाकों में विजय मशाल के सम्मान में होने वाले कार्यक्रमों में स्थानीय लोगों द्वारा भारी जोश दिखाया जा रहा है। इन कार्यक्रमों में उन शहीदों का नमन किया जा रहा है जिन्होंने देश के लिए अपनी जान कुर्बान कर दी थी। यह अपनी तरह का पहल कार्यक्रम हैं यहां पर पचास साल पहले युद्ध लड़ने वाले वीरों व शहीदों के परिजनों को सम्मानित किया जा रहा है।


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