Move to Jagran APP

Kashmir: पाकिस्तान से भारतीय सीमा में घुसपैठ करते हुए दो आतंकी नाले में डूबे, शव-हथियार बरामद

पुलिस ने शवों की शिनाख्त नहीं की है लेकिन स्थानीय सूत्रों की मानें तो इनमें एक निसार अहमद राथर है और दूसरा समीर अहमद डार के तौर पर हुई है।

By Rahul SharmaEdited By: Published: Sat, 05 Sep 2020 06:31 PM (IST)Updated: Sat, 05 Sep 2020 06:31 PM (IST)
Kashmir: पाकिस्तान से भारतीय सीमा में घुसपैठ करते हुए दो आतंकी नाले में डूबे, शव-हथियार बरामद
Kashmir: पाकिस्तान से भारतीय सीमा में घुसपैठ करते हुए दो आतंकी नाले में डूबे, शव-हथियार बरामद

श्रीनगर, राज्य ब्यूरो। पाकिस्तान में आतंकी प्रशिक्षण प्राप्त करने के बाद कश्मीर लाैट रहे दो आतंकवादी उत्तरी कश्मीर के गुरेज सेक्टर(बांडीपोर) में एलओसी पर ही एक नाले में डूबकर मर गए। दोनों के शव और हथियारों को पुलिस ने शनिवार को बरामद किया है। दोनों आतंकी दक्षिण कश्मीर के रहने वाले थे। फिलहाल, इन दोनों आतंकियों के शवों को बरामद करने के बाद सुरक्षाबलों ने तुलैल से कश्मीर के भीतरी इलाकों की तरफ जाने वाले रास्तों पर तलाशी अभियान भी चलाया। सुरक्षाबलों को संदेह है कि इनके साथ एक दो आतंकी और होंगे जो बच निकले हैं।

loksabha election banner

अलबत्ता, पुलिस ने इसकी पुष्टि नहीं की है। यहां मिली जानकारी के अनुसार, आज गुरेज सेक्टर में तुलैल गांव के लोगों ने एलओसी के अग्रिम छोर पर एक नाले में दो शव देखे। उन्होंने उसी समय पुलिस व सेना को सूचित किया। सेना और पुलिस के जवान भी मौके पर पहुंच गए। एसडीपीओ गुरेज पीरजादा एजाज ने बताया कि मलनगाम इलाके में एक नाले में शव पड़े हुए थे। शवों के पास से दो एसाल्ट राइफलें, चार एके मैगजीन, 116 एके कारतूस, एक ग्रेनेड,एक वायरलेस सेट, एक कलाई घड़ी और 9 एमएम पिस्तौल के 16 कारतूस भी मिले हैं। शवों की स्थिति देखकर लगता है कि मौत डूबने से हुई होगी। यह दोनों नीलम दरिया को पार कर कश्मीर में दाखिल होने का प्रयास कर रहे थे।

शवों को पोस्टमार्टम के लिए गुरेज अस्पताल ले जाया गया है। हालांकि पुलिस ने शवों की शिनाख्त नहीं की है, लेकिन स्थानीय सूत्रों की मानें तो इनमें एक निसार अहमद राथर है और दूसरा समीर अहमद डार के तौर पर हुई है। राथर जिला पुलवामा में डाडसर त्राल का रहने वाला है और समीर पुलवामा के डोगरीपोरा गांव का रहने वाला है। समीर का संबध हिजबुल मुजाहिदीन से था। वह अप्रैल 2018 में आतंकी बना था। निसार अहमद राथर अगस्त 2019 में जब आतंकी बना था तो उस समय वह जैश-ए-माेहम्मद के साथ था। निसार का आधार कार्ड भी मिला है। ये दोनों आतंकी बनने के लिए गुलाम कश्मीर कब और किस रास्ते से गए थे, यह तत्काल पता नहीं चल पाया है।

संबधित सूत्रों ने बताया कि इन दोनों ने बताया कि तुलैल नाले में नीलम दरिया के रास्ते यह घु़ुसपैठ संभवत दो दिन पहले पाकिस्तानी सेना द्वारा गुरेज सेक्टर में जंगबंदी का उल्लंघन कर भारतीय सैन्य नागरिक ठिकानों पर की गई गाेलाबारी के दौरान हुई होगी। निसार व समीर के साथ कुछ और आतंकी भी होंगे जो बच गए होंगे। इसी आशंका को ध्यान में रखते हुए सुरक्षाबलों ने तुलैल को कश्मीर के भीतरी इलाकों से जोड़ने वाले विभिन्न रास्तों पर चौकसी बढ़ाते हुए एक तलाशी अभियान भी चलाया। परंतु अभी तक कुछ पता नहीं चल पाया है। 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.