सैन्य अधिकारी ने कश्मीर में दिव्यांग गौहर का सारा खर्च उठाने का लिया जिम्मा
सेना की 21 आरआर में मेजर रैंक के एक अधिकारी ने यमराड (हंदवाड़ा) के रहने वाले गौहर मीर को अपनाया है। गौहर मीर मूक और बधिर है।
राज्य ब्यूरो, श्रीनगर : उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा में आतंकरोधी अभियानों में सक्रिय भूमिका निभा रहे एक सैन्याधिकारी ने एक दिव्याग बालक को अपनाते हुए उसकी शिक्षा और चिकित्सा का सारा खर्च उठाने का जिम्मा लिया है। सैन्याधिकारी के अनुसार, अगर इस बच्चे को उपचार के लिए कश्मीर से बाहर ले जाने की जरूरत होगी तो वहां भी इसका इलाज कराया जाएगा।
सेना की 21 आरआर में मेजर रैंक के एक अधिकारी ने यमराड (हंदवाड़ा) के रहने वाले गौहर मीर को अपनाया है। गौहर मीर मूक और बधिर है। सैन्य अधिकारी ने कहा कि मैं कुछ दिन पूर्व ही गौहर मीर से मिला था। हालाकि वह बोल नहीं सकता, लेकिन जब मैं उसके पास कुछ देर बैठा तो मुझे लगा कि मेरा दिल उसके दिल से कोई बात कर रहा है। उसके परिवार में नौ लोग हैं और उनमें से चार दिव्यांग हैं। मैंने मानवता के आधार पर उसकी मदद का फैसला लिया। इसलिए मैंने उसे अपनाया है। आज हमने उसे जचलडारा स्थित हायर सेकेंडरी स्कूल में नौंवीं कक्षा में दाखिल कराया है। मेजर ने कहा कि मैंने गौहर के परिजनों से बातचीत की है। मैंने उनसे कहा कि गौहर का जम्मू कश्मीर से बाहर इलाज हो सकता है। उन्होंने मुझे गौहर को कश्मीर से बाहर इलाज के लिए ले जाने की अनुमति भी दे दी है।