Jammu Kashmir: गुपकार घोषणा पर सियासी आरोप-प्रत्यारोप का मसला पुलिस में पहुंचा
घोषणा में शामिल नेताओं को पाक परस्त बताने पर एएनसी खफा भाजपा ने विफल राजनेता की प्रचार पाने की नाकाम कोशिश करार दिया
श्रीनगर, राज्य ब्यूरो। गुपकार घोषणा पर जारी सियासी आरोप-प्रत्यारोप का मामला अब पुलिस तक जा पहुंचा है। घोषणा में शामिल नेताओं को राष्ट्रविरोधी, पाकिस्तान व अलगाववाद समर्थक बताने से खफा जम्मू कश्मीर अवामी नेशनल कांफ्रेंस (एएनसी) के उपाध्यक्ष मुजफ्फर शाह ने भाजपा के दिग्गज नेताओं के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है।
भाजपा ने इस पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए नाकाम राजनेता द्वारा खबरों में रहने का नाकाम प्रयास बताया है। साथ ही शाह को इस उम्र में घर में बैठकर आराम करने की नसीहत दी है। एएनसी ने श्रीनगर के राम मुंशी बाग थाने में प्रदेश भाजपा अध्यक्ष रविंद्र रैना, भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अविनाश राय खन्ना, भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव डॉ. अनिल जैन, मुरलीधर राव व प्रधानमंत्री कार्यालय में राज्यमंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह के खिलाफ शिकायत देते हुए उन पर गुपकार घोषणा में शामिल नेताओं को धमकाने का आरोप लगाया।
एएनसी के उपाध्यक्ष मुजफ्फर शाह ने आरोप लगाया कि भाजपा नेताओं ने गुपकार घोषणा में शामिल नेताओं को सोशल मीडिया और प्रेस के जरिए नेताओं को धमकाया और उनके खिलाफ आपत्तिजनक दावे कर सांप्रदायिक उन्माद पैदा करने का प्रयास किया है।
मुजफ्फर शाह ने कहा कि हम राष्ट्रीय अल्संख्यक आयोग और राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग में भी जाएंगे। हम भाजपा नेतृत्व से कहते हैं कि वह ऐसे लोगों पर लगाम लगाएं, जो जब चाहे किसी को भी पाकिस्तान समर्थक व अलगाववादी करार दे देते हैं। हमने गुपकार घोषणा का एलान कर कोई गलत काम नहीं किया है। हम सरकार के निर्णय को वापस लेने की मांग कर रहे हैं और यह हमारा संवैधानिक अधिकार है।
उधर भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता अल्ताफ ठाकुर ने शाह पर करारा हमला करते हुए कहा कि यह एक नाकाम राजनेता द्वारा खबरों में बने रहने का प्रयास है। मुजफ्फर शाह ने कश्मीर में कभी चुनाव नहीं लड़ा। वह हताश और निराश हैं। अविनाश राय खन्ना, डा. जितेंद्र सिंह और रविंद्र रैना जैसे भाजपा नेताओं का मजबूत जनाधार है। शाह के पिता जीएम शाह जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री रह चुके हैं और उसके बावजूद दर्जन भर आम कश्मीरी भी अवामी नेशनल कांफ्रेंस को नहीं जानते। मैं शाह को सलाह दूंगा कि वह अब राजनीति करने के बजाय घर में बैठकर आराम करें।