Property Tax: जम्मू-कश्मीर में आज से लागू होगा संपत्ति कर, नेकां ने किया प्रदर्शन
Property Tax जम्मू कश्मीर में संपत्ति कर लगाने के विरोध में बुधवार को नेशनल कांफ्रेंस (नेकां) के कार्यकर्ताओं ने जिलाध्यक्ष जम्मू शहरी चंद्रमोहन शर्मा के नेतृत्व में रेजीडेंसी रोड पर प्रदर्शन किया। नेकां के संभागीय अध्यक्ष रतनलाल गुप्ता जोनल अध्यक्ष पूर्व मंत्री बाबू रामपाल भी वहां मौजूद रहे।
जम्मू, जागरण संवाददाता। जम्मू-कश्मीर में केंद्र शासित प्रदेश सरकार ने हाल ही में शहरी संपत्ति टैक्स लगाने का ऐलान किया जो 1 अप्रैल से लागू होगा। 1 अप्रैल यानि की आज से लगातार विपक्ष के विरोध के बीच में संपत्ति कर लागू किया जाएगा। जम्मू कश्मीर में संपत्ति कर लगाने के विरोध में बुधवार को नेशनल कांफ्रेंस (नेकां) के कार्यकर्ताओं ने जिलाध्यक्ष जम्मू शहरी चंद्रमोहन शर्मा के नेतृत्व में रेजीडेंसी रोड पर प्रदर्शन किया। नेकां के संभागीय अध्यक्ष रतनलाल गुप्ता, जोनल अध्यक्ष पूर्व मंत्री बाबू रामपाल भी वहां मौजूद रहे।
केंद्र पर साधा निशाना
चंद्रमोहन शर्मा ने कहा कि सरकार युवाओं को रोजगार नहीं मिल रहा। पढ़ा लिखा युवा सड़कों पर है। महंगाई कम करने पर सरकार ध्यान नहीं दे रही है, लेकिन टैक्स पर टैक्स थोपे जा रही है। पूर्व मंत्री एवं जोनल अध्यक्ष बाबू रामपाल ने कहा कि उपराज्यपाल ने कहा है कि संपत्ति कर से केवल 40 प्रतिशत आबादी प्रभावित होगी, जबकि तथ्य यह है कि शहरी क्षेत्रों में रहने वाली लगभग 80 प्रतिशत आबादी इससे सीधे तौर पर प्रभावित होगी।
चंद्रमोहन शर्मा ने कहा कि आज जम्मू-कश्मीर के लोग अनुच्छेद 370 के निरस्त होने से असहाय महसूस कर रहे हैं। प्रदर्शन में शेख बशीर अहमद, डा. विकास शर्मा, अयूब मलिक, प्रदीप बाली, सवंत कौर डोगरा, लक्ष्मी दत्ता, बीडी दलोत्रा, सुरजीत सिंह सासन आदि मौजूद रहे।
अप्रैल से संपत्ति कर लगाने की तैयारी शुरु
कठुआ। विपक्षी दलों के अलावा विभिन्न संगठनों व भाजपा के कई पार्षदों व वरिष्ठ नेताओं के भारी विरोध के बावजूद कठुआ नगर परिषद सरकार के आदेश पर आगामी एक अप्रैल से संपत्ति कर लगाने की तैयारियों में जुट गया है। ऐसे में कठुआ शहर के निवासियों को एक अप्रैल से संपत्ति कर देने के लिए तैयार रहना होगा। इससे पहले नगर परिषद के अधिकारी अपनी टीम सहित शहर के वार्ड व मुख्य गलियों में जाकर लोगों को संपत्ति कर देने के लिए तैयार रहने को जागरूक करेगी और बताएगी कि यह संपत्ति कर लगने से किस तरह का लाभ होगा।
आम आदमी को कराया जा रहा अवगत
इसमें शहर के विकास के लिए ज्यादा फंड उपलब्ध होंगे। साथ ही लोगों को बताएगी कि पहली बार लगने वाला संपत्ति कर बहुत ही कम है, जो साल में दो किस्तों में भी दिया जा सकेगा जो कि आम आदमी के लिए देना आसान रहेगा। वसूला गया कर नगर परिषद के आय का एक अलग स्रोत बनेगा। इससे किसी शहर के किसी भी क्षेत्र में जरूरत के मुताबिक प्राथमिकता पर विकास करने के लिए फंड उपलब्ध रहेंगे। नगर परिषद ने शहरवासियों को कर देने के लिए सबसे पहले उन्हें खुद घोषणा पत्र देने के लिए तैयार करने जा रही है, जिसमें संपत्ति मालिक खुद नगर परिषद को घोषणा पत्र में अपनी संपत्ति का ब्योरा लिख कर देगा, उसी हिसाब से कर वसूला जाएगा। ऐसे में अगर कोई घोषणा पत्र में ज्यादा संपत्ति होने पर कम दिखाता है तो उसकी मौके पर जाकर नगर परिषद जांच भी करेगी।
संपत्ति कर सिर्फ प्लाट में जितने हिस्से में मकान का निर्माण हुआ होगा, उसी का आकलन किया जाएगा। जैसा 10 मरले का किसी का प्लाट है तो उसमें किसी ने 5 या 7 मरले में ही मकान का निर्माण किया है, तो उसे उसी का ही कर देना होगा न कि 10 मरले भूमि का। अभी नगर परिषद शहरवासियों को कर देने के लिए जागरूक कर रही है, जिसमें ऑटो पर स्पीकर लगाकर ढिंढोरा पीटा जा रहा है। उसके बाद वार्डों में टीमें जाएंगी, ताकि एक अप्रैल से कर लगाया जाए।गौर हो कि गत मंगलवार को नगर परिषद कार्यालय में आयोजित हुई बैठक में नगर परिषद के प्रधान सहित भाजपा व अन्य पार्षदों ने संपत्ति कर का विरोध किया।
बैठक में हुई चर्चा
नगर परिषद के सीईओ संतोष कोतवाल ने बैठक के बाद कहा कि नगर परिषद की बैठक में प्रधान राजेंद्र सिंह बब्बी भी मौजूद थे। उनकी अध्यक्षता में संपत्ति कर पर उपस्थित पार्षदों ने विरोध जताया है। वे उनका अपना विरोध हो सकता है, वह रिकॉर्ड में नहीं आता है, क्योंकि बैठक में कोई ऐसा प्रस्ताव उपस्थित पार्षदों द्वारा पास नहीं किया गया है और न ही नप परिषद के कार्यालय में लिखित में कोई विरोध दर्ज कराया गया है। अगर होता भी तो भी सरकार के आदेश पर संपत्ति कर लगना ही है, इसे बैठक में विरोध उठने से नहीं रोका जा सकता है। सीईओ ने साफ किया कि कठुआ में संपत्ति कर लगने जा रहा है। इसके लिए शहरवासियों को अब तैयार रहना होगा।