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जम्मू कश्मीर को मुसीबत से बाहर निकालना चाहते थे मुफ्ती

राज्य ब्यूरो, जम्मू : पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कहा कि किसी भी राजनीतिक पार्टी ने इतनी त

By JagranEdited By: Published: Tue, 31 Jul 2018 01:47 AM (IST)Updated: Tue, 31 Jul 2018 03:13 AM (IST)
जम्मू कश्मीर को मुसीबत से बाहर निकालना चाहते थे मुफ्ती
जम्मू कश्मीर को मुसीबत से बाहर निकालना चाहते थे मुफ्ती

राज्य ब्यूरो, जम्मू : पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कहा कि किसी भी राजनीतिक पार्टी ने इतनी तरक्की नहीं की, जितनी पीडीपी ने की है। वर्ष 1999 में बनी पीडीपी एक सीट से 16, फिर 21 और उसके बाद 28 सीटों तक पहुंची। पीडीपी के 19वें स्थापना दिवस पर महबूबा ने कहा कि स्वर्गीय मुफ्ती मोहम्मद सईद को जम्मू कश्मीर या देश को लेकर कोई असमंजस नहीं था। मुफ्ती जम्मू कश्मीर को मुसीबत से बाहर निकालना चाहते थे। यह उनकी सोच थी कि जम्मू कश्मीर को मुसीबत से बाहर निकालने के लिए पाकिस्तान से अच्छे रिश्ते रखने होंगे। कश्मीर के भाग्य का फैसला हमेशा केंद्र सरकार ही करती थी। मुफ्ती ने वाजपेयी से दिल्ली में मुलाकात की और जब वाजपेयी ने कश्मीर के बारे में पूछा तो मुफ्ती ने कहा कि कश्मीर में किस पार्टी को विजयी बनाना है, इसका फैसला केंद्र ही करता है। वर्ष 1987 के चुनाव में भी धांधलियां हुईं। तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने लाल किले की प्राचीर से घोषणा की कि जम्मू कश्मीर में निष्पक्ष और स्वतंत्र चुनाव होंगे। हमने 2002 में कांग्रेस के साथ सरकार बनाई। तीन वर्ष का मुफ्ती का कार्यकाल सुनहरी कार्यकाल था। हर क्षेत्र के साथ बराबर इंसाफ हुआ। पाकिस्तान के साथ बातचीत हुई। सीमा पर संघर्ष विराम हुआ। वाजपेयी ने पाकिस्तान के साथ दोस्ती का हाथ बढ़ाया। वह लाहौर भी गए। जम्मू कश्मीर में आतंकवादी घटनाओं में कमी आ गई। विकास हुआ। सड़कें बनीं, कॉलेज, स्कूल, विश्वविद्यालय बने, मुगल रोड़ बना। वाजपेयी के जाने के बाद शांति प्रक्रिया बंद हो गई।

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