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Jammu: जल शक्ति विभाग के अस्थायी कर्मियों की महारैली शीघ्र, बैठक में बनाई आंदोलन की आगामी रणनीति

पीएचई इंप्लाइज यूनाइटेड फ्रंट के सीनियर नेता रवि हंस का कहना है कि सरकार हमें हल्के में न ले। 22 हजार कर्मी अपने हक की लड़ाई लड़ रहा है और अब आश्वासन से काम नहीं चलेगा। सरकार को रोड मैप दिखाना ही होगा।

By Vikas AbrolEdited By: Published: Sat, 13 Aug 2022 09:22 PM (IST)Updated: Sat, 13 Aug 2022 09:22 PM (IST)
शनिवार को बीसी रोड स्थित कार्यालय परिसर में जमकर प्रदर्शन किया और सरकार के खिलाफ नारेबाजी की।

जम्मू, जागरण संवाददाता। पिछले दिनों जम्मू की सड़कों पर उतरकर पुलिस की मुश्किलें बढ़ाने वाले जलशक्ति विभाग के अस्थायी कर्मी 15 अगस्त के बाद एक और महारैली निकालेंगे। यह निर्णय यहां हुई एक बैठक में लिया गया। इसमें कहा गया कि सरकार गूंगी बहरी बनी हुई है और इस सरकार को अब नींद से जगाने की जरूरत है। इसलिए 15 अगस्त के बाद आंदोलन में तेजी लाई जाएगी और सरकार के खिलाफ जमकर प्रदर्शन किया जाएगा।

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पीएचई इंप्लाइज यूनाइटेड फ्रंट के सीनियर नेता रवि हंस का कहना है कि सरकार हमें हल्के में न ले। 22 हजार कर्मी अपने हक की लड़ाई लड़ रहा है और अब आश्वासन से काम नहीं चलेगा। सरकार को रोड मैप दिखाना ही होगा। अगर सरकार ने हमारी मांगे नहीं मानी तो हम आंदोलन से पीछे हटने वाले नहीं। इसी बीच जलशक्ति विभाग के अस्थायी कर्मियों ने शनिवार को बीसी रोड स्थित कार्यालय परिसर में जमकर प्रदर्शन किया और सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। इन कार्यकर्ताओं ने कहा कि अब यह संघर्ष किसी नतीजे पर पहुंचकर ही खत्म होगा।

मौके पर कार्यकर्ताओं ने जलशक्ति विभाग के खिलाफ भी नारे लगाए। कार्यकर्ताओं ने कहा कि विभाग ने सही तरीके से उनका मामला समय समय पर उठाया होता तो यह सभी कर्मी आज नियमित हो चुके होते। मौके पर होशियार सिंह ने कहा कि 15 से 20 वर्ष से यह कर्मी विभाग में सेवाएं दे रहे हैं। लेकिन इनके बारे में कुछ नहीं सोचा गया। आज हालत यह है कि यह यह कर्मी उम्र दराज हो रहे हैं और इस कच्ची नौकरी से भी बाहर हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि 1994 के बाद सरकार ने कर्मियों को नियमित करने का क्रम ही रोक दिया। यह इंसाफ नहीं है। महज 9 हजार रुपये से कर्मचारियों का गुजारा नहीं हो सकता। इसलिए अब हमें अपना हक चाहिए ही।


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