कश्मीरी पंडितों को वादी में मिलेगा आशियाना
राज्य ब्यूरो, जम्मू : केंद्र ने घाटी में काम कर रहे कश्मीरी पंडितों को वहीं पर आशियाना द
राज्य ब्यूरो, जम्मू : केंद्र ने घाटी में काम कर रहे कश्मीरी पंडितों को वहीं पर आशियाना देने की तैयारी पूरी कर ली है। कश्मीरी पंडितों के पुनर्वास व राहत पैकेज के तहत वादी में 920 करोड़ रुपये की लागत से 10 ट्रांजिट कॉलोनियां बनाई जानी हैं। इनमें से गांदरबल में 192 फ्लैट वाली कॉलोनी का काम लगभग पूरा हो चुका है। रविवार को राज्य के दौरे पर आ रहे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इसका उद्घाटन करेंगे।
राज्य प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने दैनिक जागरण को बताया कि यह कॉलोनी अब तक घाटी में विस्थापित कश्मीरी पंडितों के पुनर्वास के लिए बनाई गई ट्रांजिट कॉलोनियों से थोड़ी भिन्न है। यह कश्मीरी पंडितों के पुनर्वास और कश्मीर वापसी के लिए प्रधानमंत्री रोजगार पैकेज के तहत रोजगार हासिल करने वाले कश्मीरी पंडित समुदाय के लोगों के लिए हैं। यह भी ट्रांजिट कॉलोनी ही है, लेकिन इसमें एक छोटे परिवार के लिहाज से सभी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध कराई गई हैं। इस कॉलोनी में बनाए गए फ्लैट में एक कमरा, एक रसोई, एक स्नान गृह, एक ड्राइंगरूम की सुविधा उपलब्ध कराई गई है।
पूरी वादी में बनाई जाने वाली ऐसी 10 कॉलोनियों में छह हजार फ्लैट बनेंगे, क्योंकि प्रधानमंत्री के रोजगार पैकेज के तहत विभिन्न सरकारी विभागों में विस्थापित कश्मीरी पंडितों के लिए छह हजार ही नौकरियां तय हैं। इनमें से सिर्फ तीन हजार पदों को ही भरा जा सका है। प्रत्येक जिले में प्रधानमंत्री रोजगार पैकेज के तहत आबंटित पदों के आधार पर ही संबंधित जिले में कॉलोनी के फ्लैट की संख्या तय की गई है।
अधिकारी ने बताया कि पहले जो ट्रांजिट कालोनियां हैं, उनमें सभी प्रकार के विस्थापित कश्मीरी पंडित रह सकते हैं। इसके अलावा उनमें सिर्फ एक ही कमरे की सुविधा है। नई कॉलोनियों में एक परिवार आसानी से रह सकता है। सरकार का मकसद है कि जब कश्मीरी पंडित एक बार फिर खुद को कश्मीर के माहौल में ढाल लें, स्थानीय लोगों के साथ फिर उनका संवाद-समन्वय मजबूत हो जाए तो वह धीरे-धीरे अपने पैतृक इलाकों में अपने घरों में स्थानांतरित हो जाएं।
मोदी दौरे के प्रबंधों की समीक्षा :
मुख्य सचिव बीवीआर सुब्रह्मण्यम ने बुधवार को श्रीनगर में प्रधानमंत्री के दौरे की तैयारियों के प्रबंधों की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री बड़गाम हवाई अड्डे पर उतरने के बाद श्रीनगर एसकेआइसीसी जाएंगे और वहां से प्रोजेक्टों का नींव पत्थर रखेंगे।