Jammu Kashmir: ट्रांसपोर्टर और प्रशासन के बीच वार्ता का पहला दौर सफल, 10 जून को फैसला होगा
Jammu Kashmir Transporters वजीर ने फिलहाल सरकार के खिलाफ जारी आंदोलन को आगामी 10 जून तक स्थगित करने का ऐलान किया है।
जम्मू, जागरण संवाददाता। केंद्र सरकार द्वारा ट्रांसपोर्टरों को वित्तीय पैकेज देने, यात्री वाहनों का 50 प्रतिशत बढ़ाकर उन्हें सड़कों पर 50 प्रतिशत सवारियां लेकर दौड़ाने की अनुमति देने सहित अन्य मांगों के समर्थन में वीरवार दोपहर को ट्रांसपोर्टरों और प्रशासन के बीच वार्ता का पहला दौर कामयाब रहा है। परिवहन विभाग के आयुक्त सचिव हृदेश कुमार की अध्यक्षता में करीब दो घंटे तक हुई बैठक में ट्रांसपोर्टरों की मांगों से ऑल जेएंडके ट्रांसपोर्ट वेलफेयर एसोसिएशन के चेयरमैन टीएस वजीर ने अवगत करवाया।
बाहु प्लाजा स्थित निर्वाचन आयोग के कार्यालय में वीरवार दोपहर एक बजे के करीब बैठक आरंभ हुई। वजीर ने आयुक्त सचिव को बताया कि उत्तराखंड, हरियाणा सहित अन्य राज्यों से यात्री वाहनों को सड़कों पर यात्री किरायों में बढ़ोतरी करने के उपरांत दौड़ाने की अनुमति दे दी है लेकिन प्रदेश के ट्रांसपोर्टरों को दो महीनों से भी अधिक समय से वाहन नहीं दौड़ाने से करोड़ों रुपए का चूना लग चुका है। केंद्र सरकार की ओर से जारी किए गए वित्तीय पैकेज में से ट्रांसपोर्टरों को एक फूटी कौड़ी भी नसीब नहीं हुई है। उन्होंने यात्री किरायों में 50 प्रतिशत वृद्धि करने, ट्रांसपोर्टरों सहित ड्राइवरों और कंडक्टरों को राहत पैकेज देने सहित अन्य मांगों के समर्थन में ज्ञापन भी भेंट किया।
परिवहन विभाग के आयुक्त सचिव हृदेश कुमार ने ट्रांसपोर्टरों की मांगों को ध्यानपूर्वक सुना और यकीन दिलाया कि वित्तीय पैकेज सहित इश्योंरेंस में रियासत देने सहित टोल प्लाजा और पैसेंजर टैक्स में छूट देने के मामले में केंद्र सरकार से बातचीत की जाएगी जबकि अन्य मांगों पर गौर फरमाने के लिए उपराज्यपाल के सलाहकार और मुख्य सचिव बीवीआर सुब्रह्मण्यम के समक्ष रखेंगे। उम्मीद है कि ट्रांसपोर्टरों को जल्द ही कुछ राहत भरी खबर सुनने को मिलेगी। फिलहाल अब वार्ता का दूसरा दौर 10 जून को आयोजित किया जाएगा। इसमें सरकार की ओर से मिलने वाले दिशा निर्देशों को सार्वजनिक कर दिया जाएगा। फिलहाल सरकार की ओर से उनकी मांगों पर गौर करने के लिए 10 जून तक का समय मांगा गया है।
वजीर ने फिलहाल सरकार के खिलाफ जारी आंदोलन को आगामी 10 जून तक स्थगित करने का ऐलान किया है। उन्होंने कहा कि बैठक बेहद ही सौहार्दपूर्ण दौर में हुई है और उन्हें उम्मीद है कि ट्रांसपोर्टरों से पूरा-पूरा इंसाफ किया जाएगा। बैठक में जम्मू की डीसी सुषमा चौहान, परिवहन आयुक्त प्रदीप कुमार सहित ट्रांसपोर्ट एसोसिएशन के महासचिव विजय कुमार शर्मा, मिनी बस वर्कर्स यूनियन के अध्यक्ष विजय सिंह चिब, छम्ब ग्रुप के प्रधान भारत भूषण, टैक्सी आपरेटर यूनियन के पूर्व अध्यक्ष देवेंद्र चौधरी सहित अन्य ट्रांसपोर्टर भी मौजूद थे।
ट्रांसपोर्टरों की क्या हैं मांगे
- सड़कों पर यात्री वाहनों को दौड़ाने की अनुमति मिले
- यात्री किरायों में 50 प्रतिशत की वृद्धि की जाए
- अन्य केंद्रशासित प्रदेशों की तरह टोल प्लाजा और पैसेंजर टैक्स फीस माफ हो
- एक वर्ष के लिए ऋण पर लिए गए वाहनों की किश्त ब्याज सहित माफ हो
- सभी प्रकार के वाहन टैक्स और फीस एक वर्ष के लिए माफ हो
- अड्डा और पार्किंग फीस खत्म की जाए
- बीएस-4 वाहनों के पंजीकरण की तिथि को बढ़ाया जाए
- रेडियो टैक्सी दौड़ाने पर प्रतिबंध लगाया जाए
- सरकार द्वारा भाड़े पर विभिन्न आयोजनों के लिए ली गई बसों की सभी बकाया पेमेंट जारी की जाए
- मिनी बसों और आॅटो रिक्शा के लिए अलग से पार्किंग बनाई जाए
- रेलवे स्टेशन और एयरपोर्ट पर यात्री वाहनों से वसूली जाने वाली पार्किंग फीस कम की जाए
- ड्राइविंग लाइसेंस के रेन्यु के दौरान वसूले जाने वाली दोगुनी फीस कम की जाए
- फिटनेस सर्टिफिकेट की फीस माफ की जाए
- आरटीओ कार्यालय में कमर्शियल वाहनों के लिए अलग से काउंटर खोला जाए