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डीजीपी दिलबाग सिंह ने कहा- हारून की मौत के साथ ही डोडा, किश्तवाड़, रामबन का आतंकी नेटवर्क तबाह

पुलिस महानिदेशक ने बताया कि मुठभेड़ के दौरान हारुन का एक साथी बच निकला है जिसे मार गिराने के लिए सुरक्षाबलों का तलाशी अभियान जारी है।

By Rahul SharmaEdited By: Published: Thu, 16 Jan 2020 11:56 AM (IST)Updated: Thu, 16 Jan 2020 11:56 AM (IST)
डीजीपी दिलबाग सिंह ने कहा- हारून की मौत के साथ ही डोडा, किश्तवाड़, रामबन का आतंकी नेटवर्क तबाह
डीजीपी दिलबाग सिंह ने कहा- हारून की मौत के साथ ही डोडा, किश्तवाड़, रामबन का आतंकी नेटवर्क तबाह

जम्मू, राज्य ब्यूरो। राज्य के पुलिस महानिदेशक दिलबाग सिंह ने कहा कि डोडा में हिजबुल मुजाहिदीन के जिला कमांडर हारुन अब्बास के मारे जाने से जम्मू संभाग के डोडा, किश्तवाड़ व रामबन में आतंकी नेटवर्क लगभग तबाह हो चुका है। इस क्षेत्र में आतंकियों के पास हथियारों की भारी कमी है। कश्मीर घाटी के आतंकी डोडा और उससे सटे इलाकों में अपनी उपस्थिति बढ़ाने का प्रयास कर रहे हैं।

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डोडा में गत बुधवार को मारे गए हिजबुल मुजाहिदीन के जिला कमांडर हारुन अब्बास की मौत की पुष्टि करते हुए डीजीपी ने कहा कि वह लगभग 16 माह से आतंकी गतिविधियों में सक्रिय था। हारुन का मारा जाना डोडा और उससे सटे इलाकों में सक्रिय आतंकियों के लिए बड़ा झटका है। हारुन नवंबर 2018 में किश्तवाड़ में भाजपा नेता अनिल परिहार और उसके भाई की हत्या समेत कई वारदात में शामिल था। हारुन और उसका साथी ओसामा डोडा-किश्तवाड़ रेंज में आतंकी ढांचा तैयार कर रहे थे। पिछले दिनों ओसामा के मारे जाने के बाद हारुन अपने नेटवर्क को फिर से खड़ा करने में लगा था।

पुलिस महानिदेशक ने बताया कि मुठभेड़ के दौरान हारुन का एक साथी बच निकला है, जिसे मार गिराने के लिए सुरक्षाबलों का तलाशी अभियान जारी है। हारुन का यह साथी कश्मीर का रहने वाला है। इसके आधार पर कहा जा सकता है कि कश्मीर के आतंकी इस इलाके में अपना प्रभाव बढ़ाने का प्रयास कर रहे हैं। पुलिस महानिदेशक ने बताया कि रामबन-डोडा-किश्तवाड़ रेंज में आतंकियों के पास हथियारों की कमी है। इसलिए हारुन हथियारों को लूटकर नए आतंकियों को देता था। गत दिनों तारिक नामक एक आतंकी भी पकड़ा गया था, उसने भी थ्री नॉट थ्री राइफल खरीदी थी। इस इलाके में अब दो-तीन ही पुराने नामी आतंकी रह गए हैं। हम उन्हें भी जल्द ही मार गिराएंगे। पुलिस महानिदेशक ने बताया कि वर्ष 2020 आतंकरोधी अभियानों के लिहाज से अब तक बेहतर रहा है।

जम्मू के मलिक मार्केट इलाके से एक संदिग्ध व्यक्ति को पकड़ा

केंद्रीय खुफिया एजेंसी की सूचना पर जम्मू कश्मीर पुलिस के आतंकवाद विरोधी दस्ते स्पेशल आपरेशन ग्रुप (एसओजी) ने शहर के मलिक मार्केट इलाके से एक संदिग्ध व्यक्ति को पकड़ा है। पकड़े गए संदिग्ध पर आतंकियों के लिए काम करने का संदेह है। एजेंसियों को सूचना मिली थी कि संदिग्ध व्यक्ति आतंकियों के लिए हथियारों को जखीरा बनिहाल से जम्मू लेकर आया है। पुलिस ने मौके से एक टाटा मोबाइल गाड़ी को भी जब्त किया है, जिसमें संदिग्ध व्यक्ति बनिहाल से जम्मू आया था। उससे एसओजी के सेफ हाउस में पूछताछ की जा रही है।

पुलिस अधिकारियों की माने से संदिग्ध व्यक्ति से पूछताछ के दौरान जम्मू में सक्रिय आतंकियों के नेटवर्क बारे जानकारियां मिल पाएंगी। पुलिस सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार संदिग्ध व्यक्ति मोहम्मद रफीक गिनाई निवासी रामबन के मोबाइल फोन को सर्विलांस पर रखा गया था। बुधवार दोपहर को जैसे ही वह वाहन नंबर जेके19-5355 में मालिक मार्केट पहुंचा, तो एसओजी की टीम ने नरवाल और छन्नी हिम्मत पुलिस के साथ मिलकर संदिग्ध व्यक्ति को हिरासत में ले लिया। पकड़े गए संदिग्ध और उसके वाहन को अज्ञात स्थान पर ले जाया गया, जहां देर रात तक उससे पूछताछ जारी रही। एसपी सिटी साउथ विनय शर्मा ने संदिग्ध व्यक्ति को हिरासत में लिए जाने के मामले में कुछ भी कहने से इंकार कर दिया। गणतंत्र दिवस के मद्देनजर सुरक्षा एजेंसियां को जोखिम नहीं लेना चाहती। कुछ दिनों पूर्व जिला सांबा के पुरमंडल से वीडीसी सदस्यों की सूचना पर पुलिस कर्मियों ने पूर्व आतंकियों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया था।


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