Jammu Kashmir: सीआरपीएफ डीजी माहेश्वरी ने कहा- आतंकवाद को कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा
हमारा पूरा प्रयास रहता है कि जिन आतंकवादियों को जिंदा पकड़ा जा सकता है उन्हें जिंदा पकड़ें। परंतु जिसकी वजह से लोगों की जान को खतरा पैदा हो उन्हें मार गिराना जरूरी हो जाता है।
जम्मू, जेएनएन। आतंकवाद को कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। जम्मू-कश्मीर में ही नहीं देश में आतंकवाद-अशांति फैला रहे आतंकवादियों-राष्ट्रविरोधी तत्वों से सख्ती से निपटा जाएगा। बन टोल प्लाजा में आपरेशन की सफलता के पीछे सभी सुरक्षा एजेंसियों का संयुक्त प्रयास शामिल है। जानमाल को नुकसान पहुंचे बिना सुरक्षाबलों ने सीमा पार पाकिस्तान से आए जैश-ए-मोहम्मद के तीनों आतंकवादियों को मार गिराया। लोगों की सुरक्षा हमारे लिए प्राथमिकता है।
यह बात सीआरपीएफ के डीजी एपी माहेश्वरी ने आज शनिवार को संवाददाता सम्मेलन के दौरान कही। सीआरपीएफ के जवानों व अधिकारियों का हौंसला बढ़ाने आए डीजी माहेश्वरी ने कहा कि अातंकवाद पूरी तरह असहनीय है। इसके प्रति जीरो टालरेंस की नीति ही केंद्र सरकार और सुरक्षा एजेंसियों की है। आतंकियों के मंसूबों को नाकाम बनाने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाए जा रहे हैं। उनके साथ विशेष महानिदेशक सीआरपीएफ जम्मू कश्मीर जुल्फिकार हसन भी मौजूद थे। आतंकवाद की राह पर निकले युवकों को मुख्यधारा में वापस लौटने की सलाह देते हुए डीजी ने कहा कि जो भी लड़के आतंक के रास्ते पर गए हैं, उन्हें वापस आना चाहिए। उन्होंने जम्मू कश्मीर में आतंकियों के खिलाफ ग्राम सुरक्षा समितियों के गठन व सहयोग का भी समर्थन किया।
केंद्र शासित जम्मू कश्मीर राज्य के मौजूदा सुरक्षा परिदृश्य के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि सुरक्षा परिदृश्य लगातार बदलता रहता है। पाकिस्तान का नाम लिए बगैर उन्होंने कहा कि हमारा दुश्मन भी यहां गड़बड़ी करने की अपनी साजिशों व तौर तरीकों में बदलाव करता रहता है। हम इन सभी का संज्ञान लेते हुए हालात को पूरी तरह शांत व सुरक्षित बनाए रखने के लिए अपने तंत्र में लगातार सुधार व संंशोधन करते रहते हैं। जहां जरुरत होती है, वहां हम बल का प्रयोग करते हैं और जहां जरुरत होती है, वहां हम आतंकियों व उनके साथियों को जिंदा पकड़न का प्रयास करते हैं। गत शुक्रवार को भी हमने इसी नीति पर काम किया है। गोली चलाने वाले तीन आतंकी मारे गए जबकि उनके तीन अन्य साथियों को हमने जिंदा पकड़ने का प्रयास किया और उसमें कामयाब रहे।
हिरासत में लिए गए आतंकवादियों के साथियों से पूछताछ की जा रही है। हां, जिस तरह के हथियार व अन्य साजो सामान मिला है, उससे उनकी मारक क्षमता का पता चलता है। उनके इरादे खतरनाक थे। जिंदा पकड़े गए आतकियों से हमें कई सुराग मिलने की उम्मीद है। आतंकी संगठनों के मंसूबों का जल्द पता लगा लिया जाएगा। दरअसल कश्मीर में आतंकवाद की जड़े अब कमजोर होती जा रही हैं। आतंकवादी संगठन व पाकिस्तान में बैठे उनके आका इससे बौखलाए हुए हैं। यही वजह है कि पाकिस्तान अब विदेशी आतंकवादियों की मदद से कश्मीर में एक बार फिर आतंक की आग को भड़काने का प्रयास कर रहा है। भारतीय सुरक्षा तंत्र व सुरक्षाबल के जवान हर साजिश को नाकाम बनाने को तैयार हैं।
एपी महेश्वरी ने कहा कि जम्मू कश्मीर में बीते एक साल के दौरान सीआरपीएफ ने विभिन्न अभियानों में लगभग 60 आतंकियों को मार गिराया है। कानून व्यवस्था और सुरक्षा का माहौल बनाए रखने के लिए जो भी सुविधा एंव हथियार आवश्यक हैं, उन्हें उपलब्ध कराया जा रहा है।