Corona Vaccine in Jammu: टीकाकरण में उत्साह, हर दिन चालीस हजार से अधिक ले रहे वैक्सीन
डिवीजनल कमिश्नर जम्मू डा. राघव लंगर ने भी वीडियो कांफ्रेंस से स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों से कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए एठाए गए कदमों पर जानकारी ली। उन्होंने विभागीय अणिकारियों को सतर्कता बरतने के निर्देश और कहा कि अधिक से अधिक लोगों के टेस्ट किए जाएं।
जम्मू, राज्य ब्यूरो: जम्मू-कश्मीर में अब टीकाकरण को लेकर उत्साह है। वरिष्ठ नागरिकों और विभिन्न प्रकार की बीमारियों से जूझ रहे 45 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों का टीकाकरण शुरू होने के बाद एकदम से तेजी आई है। शुक्रवार को भी चालीस हजार से अधिक लोगों ने टीकाकरण करवाया।
अब तक जम्मू-कश्मीर में पांच लाख से अधिक लोगों का टीकाकरण हो चुका है। इनमें स्वास्थ्य कर्मी, फ्रंटलाइन वर्कर भी शामिल है। वहीं शुक्रवार को भी सबसे अणिक टीकाकरण जम्मू जिले में ही हुआ। यहां आठ हजार से अधिक लोगों ने कोरोना वैक्सीन की पहली और दूसरी डोज ली। वहीं अन्य जिलों में भी अभियान जारी है। पिछले चार दिनों में ही डेढ़ लाख से अधिक लोगों का टीकाकरण हो गया है।
वहीं देर शाम को डिवीजनल कमिश्नर जम्मू डा. राघव लंगर ने भी वीडियो कांफ्रेंस से स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों से कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए एठाए गए कदमों पर जानकारी ली। उन्होंने विभागीय अणिकारियों को सतर्कता बरतने के निर्देश और कहा कि अधिक से अधिक लोगों के टेस्ट किए जाएं।
कोरोना की रोकथाम के लिए वैक्सीन के साथ जागरूकता जरूरी : वीसी
जम्मू विश्वविद्यालय के वाइस चांसलर प्रो. मनोज धर ने कहा है कि पिछले एक वर्ष के दौरान देश के वैज्ञानिकों ने कोरोना संक्रमण पर एक लाख से अधिक शोध पत्र तैयार किए हैं। कोरोना की रोकथाम के लिए वैक्सीन के साथ साथ जागरूकता जरूरी है। कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए वैक्सीन तैयार करने पर भारत के वैज्ञानिकों की सराहना करते हुए उन्होंने कहा कि भारत लगातार हर क्षेत्र में बेहतर कर रहा है। उन्होंने कोविड-19 और आरोग्य सेतु एप्लीकेशन सामने लाने के लिए भी वैज्ञानिकों की सराहना करते हुए कहा कि आधुनिक सूचना तकनीक का लाभ लोगों को मिल रहा है।
प्रो. जी पदमनाभन ने कहा कि कोरोना की रोकथाम के लिए निगरानी बहुत जरूरी है और लोगों को जागरूक रहना चाहिए। सरकारी मेडिकल कॉलेज जम्मू की प्रिंसिपल डॉ शशि सूदन ने कहा की कोरोना वैक्सिंग के लिए लगातार काम हो रहा है और 70 अलग-अलग वैक्सीन तैयार करने की प्रक्रिया देश में चल रही है जिस तरह से यह आशंका है कि कोरोना संक्रमण 10 वर्षों के बाद भी अपने पांव पसार सकता है इसलिए वैज्ञानिक इस संक्रमण का पूरी तरीके से अंत जाते हैं। उन्होंने कहा चमगादड़ से कोरोना संक्रमण आया है और इंसान को ऐसे स्थानों पर जाने से बचना चाहिए जहां पर चमगादड़ अधिक हैं। जम्मू विश्वविद्यालय के बांटनी विभाग की तरफ से कार्यक्रम आयोजित किया गया था। यह कार्यक्रम आजादी के अमृत महोत्सव के तहत नेशनल साइंस एकेडमी आफ साइंस के जम्मू चैप्टर के सहयोग से कोरोना से जागरूकता अभियान विषय पर किया गया। प्रो. एके वाखलू, प्रो. अनीमा लंगर, प्रो. गीता सुंबली, प्रो. रूपमा गंडोत्रा, डा. सिकंदर पाल व अन्य ने भी विचार रखे।