Jammu: गट्टू डोर से कटा स्कूटी सवार का गला, मौके पर ही मौत
हादसे में मारे गए सिकंदर के करीबी रिश्तेदार (पत्नी के भाई) असद ने बताया कि सिकंदर बहुत ही मेहनती था। कैटरिंग का काम कर वह अपने परिवार के पालन करते थे।
जम्मू, जागरण संवाददाता। प्रशासन द्वारा प्रतिबंध लगाए जाने के बाद भी शहर में गट्टू डोर धड़ल्ले से बिक रही है। अब इसे प्रशासनिक लापरवाही कहें या मिलीभगत परंतु इस वजह से एक स्कूटी सवार को अपनी जान गंवानी पड़ी। शहर के कासिम नगर इलाके में एक स्कूटी सवार के गट्टू डोर की चपेट में आने से जान चली गई। चालीस वर्षीय व्यक्ति का गला कट गया। डोर ने इतनी तेजी के साथ स्कूटी सवार का गला काटा की उसकी सांस लेने वाली नस बुरी तरह से कट गई और उसकी मौके पर ही मौत हो गई। शव को मेडिकल कालेज व अस्पताल के मुर्दा घर में रखा गया है। बागे बाहू पुलिस थाने में उनकी मौत का मामला दर्ज किया गया है, ताकि वहां डोर लाने वाले व्यक्ति के बारे में जानकारी जुटाई जा सके।
पेशे से कैटरर सिकंदर अली निवासी कासिम नगर को समारोह में कैटरिंग का काम मिला था। इसी काम के सिलसिले में वह शुक्रवार शाम को अपनी स्कूटी में सवार होकर न्यू प्लाट इलाके में जा रहे थे। जैसे ही कासिम नगर में वह तीखी उतराई में स्कूटी चला रहे थे तो अचानक से गट्टू डोर हवा में उड़ती हुई और सिंकदर के गले को काटती हुई निकल गई। गला कटते ही सिंकदर स्कूटी समेत सड़क पर गिर गए। मौके पर मौजूद लोगों को समझ में ही नहीं आया कि हुआ क्या है। जब वह सिंकदर के पास गए तो उसके गले में गट्टू डोर थी। निजी वाहन में खून से लथपथ सिकंदर अली को उपचार के लिए राहगीरों ने अस्पताल में पहुंचाया। घाव गहरा होने के कारण उनकी मृत्यु हो गई। पुलिस कंट्रोल रूम के माध्यम से बागे बाहू पुलिस को हादसे की जानकारी दी गई।
दो बच्चियों के पिता थे सिकंदर: हादसे में मारे गए सिकंदर के करीबी रिश्तेदार (पत्नी के भाई) असद ने बताया कि सिकंदर बहुत ही मेहनती था। कैटरिंग का काम कर वह अपने परिवार के पालन करते थे। दो माह पूर्व ही सिकंदर के घर बेटी ने जन्म लिया था। इसके अलावा सिकंदर की दो वर्ष की एक और बेटी है। लॉकडाउन के कारण सिंकदर के पास काम नहीं था, लेकिन अब अनलॉक शुरू होने के साथ ही उसे काम मिलना शुरू हुआ था। जिसके सिलसिले में वह घटना के समय जा रहा था।
गट्टू बेचने वालों पर की जाएगी कार्रवाई: अतिरिक्त जिला आयुक्त जम्मू घन श्याम ने बताया कि प्रशासन पुलिस के साथ मिलकर गट्टू डोर को बेचने वाले दुकानदारों पर कार्रवाई कर रही है। लोगों से भी अपील है यदि कोई गट्टू डोर को बेचता है तो उसकी सूचना प्रशासन को दे। आने वाले दिनों में प्रशासन गट्टू डोर बेचने वालों से सख्ती से पेश आएगी।
प्रतिबंध के बावजूद बिक रही गट्टू डोर: रक्षाबंधन और जन्माष्टी के अवसर पर जम्मू में पतंगवाजी होती है। ऐसे में कुछ दुकानदार चोरी छुपे मुनाफा कमाने के चक्कर में प्रशासन द्वारा प्रतिबंधित गट्टू डोर को बेच का काम करते है। गट्टू डोर ना केवल मानव बल्कि पक्षियों के लिए भी काम के समान होते है। अकसर पेड़ों में गट्टू डोर के बीच पक्षी फंस जाते है, जिसने उसकी मौत हो जाती है।