गर्भ गृह में सिर्फ पुजारी बारीदार ही करेगा पूजा
नीरज पराशर चिंतपूर्णी माता चितपूर्णी मंदिर के गर्भ गृह में सिर्फ पुजारी बारीदार ही दिनभर
नीरज पराशर, चिंतपूर्णी
माता चितपूर्णी मंदिर के गर्भ गृह में सिर्फ पुजारी बारीदार ही दिनभर पूजा करेगा और पहले की तरह ही मंदिर की सभी परंपराओं का निर्वहन करेगा। इसके अलावा मंदिर के अन्य पुजारी भी सुबह व शाम की आरती में शामिल हो सकते हैं। जिला प्रशासन ने इस संबंध में निर्देश जारी कर वीरवार से नई व्यवस्था लागू कर दी है।
कोरोना संकट के चलते 17 मार्च से मां का दरबार बंद होने के बाद सिर्फ पुजारी वर्ग को ही मंदिर में जाने की इजाजत थी। मंदिर में जिस पुजारी वर्ग की पूजा करने के लिए बारी आती थी, उसके अलावा भी अन्य पुजारी मंदिर में प्रवेश कर रहे थे, लेकिन अब मंदिर प्रशासन ने निर्णय लिया है कि सिर्फ पुजारी बारीदार ही मंदिर के खुलने व बंद होने के समय तक मंदिर के गर्भ गृह में पूजा करेगा। सुबह व शाम की आरती व दोपहर को लगने वाले मां के भोग के अलावा शेष समय में किसी भी पुजारी के मंदिर प्रवेश पर प्रतिबंध रहेगा। ऐसा इसलिए किया गया है क्योंकि कुछ दिन पहले एक व्यक्ति मंदिर में प्रवेश कर गया था और मंदिर की सुरक्षा में तैनात सुरक्षा कर्मियों को लगा कि वह पुजारी है, लेकिन वह असल में श्रद्धालु था। उसके पास जो पहचान पत्र था, वो भी पुजारियों को जारी किए गए आइकार्ड से मिलता-जुलता था। ऐसे में पुजारी वर्ग के किसी भी समय मंदिर में प्रवेश पर रोक के अलावा न्यास ने पुजारी वर्ग का दोबारा से पहचान पत्र बनाने का भी निर्णय लिया है और इसके लिए विशेष कमेटी का गठन किया है। कार्यवाहक मंदिर अधिकारी अभिषेक भास्कर ने बताया कि वीरवार से सिर्फ पुजारी बारीदार ही मंदिर में पूजा-पाठ करेगा। शेष पुजारी वर्ग न्यास की ओर से तय किए गए टाइम टेबल के मुताबिक ही मंदिर में प्रवेश कर सकेंगे।