वीरभद्र बोले, भाजपा से जनता का मोह भंग
पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने दावा किया है कि पांच राज्यों में होने वाले चुनाव में भाजपा की हार होगी।
राज्य ब्यूरो, शिमला : पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने दावा किया है कि पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव में भाजपा को हार झेलनी पड़ेगी। उन्होंने कहा कि हालांकि अभी नामांकन पत्र भरने का दौर चल रहा है लेकिन भाजपा से जनता का मोह भंग हुआ है।
बकौल वीरभद्र सिंह, जहां तक राजस्थान का सवाल है तो वहां हर पांच साल के बाद राजनीतिक बदलाव होता रहा है। अशोक गहलोत राजस्थान के सर्वाधिक लोकप्रिय नेता हैं जिनका जनता के बीच व्यापक जनाधार है। मध्य प्रदेश व छत्तीसगढ़ में भाजपा काफी समय से सत्ता में है। ऐसी स्थिति में जनता की महत्वाकांक्षाओं को पूरा करना संभव नहीं होता और लोग राजनीतिक बदलाव चाहते हैं। इन दो राज्यों में सियासी बदलाव होने के पीछे तर्क है कि पहले दिल्ली की सत्ता में यूपीए थी। ऐसे में भाजपा शासित राज्य कई तरह के मुद्दों के लिए केंद्र सरकार को दोषी ठहराते थे। लेकिन साढ़े चार साल के दौरान केंद्र व भाजपा शासित राज्यों में लोगों के जीवन में किसी प्रकार का मूलभूत सुधार नहीं आया है। कांग्रेस हमेशा जनता को साथ लेकर चलती है। लेकिन भाजपा की कथनी और करनी में अंतर रहता है। उत्तर प्रदेश की जीत को अलग कर दें तो गुजरात में भाजपा मामूली अंतर से सत्ता में बनी। यह सत्य है कि देश की जनता ने पिछले लोकसभा चुनाव में भाजपा को बहुमत दिया था। लेकिन महंगाई का सवाल हो या फिर रोजगार देने का मामला, इन बुनियादी मुद्दों का भाजपा समाधान नहीं निकाल सकी। विधानसभा चुनाव वाले राज्यों में स्थानीय मुद्दों पर लोग नाराज हैं तो केंद्र सरकार की नीतियों का भी आम आदमी आकलन कर रहा है। जहां तक तेलंगाना व मिजोरम का सवाल है तो वहां भाजपा का जनाधार नहीं है।