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प्रॉस्पेक्टस बिक्री घोटाले पर छात्र संगठन तल्ख

एसएफआइ और विद्यार्थी परिषद की विश्वविद्यालय इकाई ने किया प्रदर्शन। ----- -घोटाले में संलिप्त

By JagranEdited By: Published: Wed, 14 Nov 2018 08:20 PM (IST)Updated: Wed, 14 Nov 2018 08:20 PM (IST)
प्रॉस्पेक्टस बिक्री घोटाले पर छात्र संगठन तल्ख
प्रॉस्पेक्टस बिक्री घोटाले पर छात्र संगठन तल्ख

-एसएफआइ और विद्यार्थी परिषद की विश्वविद्यालय इकाई ने किया प्रदर्शन

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-घोटाले में संलिप्त लोगों पर सख्त कार्रवाई करने की मांग

-प्रदेश विवि के इक्डोल केंद्र में लाखों का घोटाला आया है सामने जागरण संवाददाता, शिमला : प्रदेश विश्वविद्यालय में प्रॉस्पेक्टस बिक्री घोटाला सामने आने के बाद छात्र संगठन तल्ख हो गए हैं। बुधवार को एसएफआइ और विद्यार्थी परिषद की विश्वविद्यालय इकाई ने विरोध में प्रदर्शन किया। एसएफआइ ने परीक्षा नियंत्रक के माध्यम से कुलपति को ज्ञापन सौंपा और घोटाले की निष्पक्ष जाच करने व घोटाले में संलिप्त दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की माग की।

एसएफआइ के कार्यकर्ताओं ने पहले कुलपति कार्यालय के बाहर धरना दिया, लेकिन कुलपति कार्यालय में मौजूद नहीं थे। इसके बाद परीक्षा नियंत्रक कार्यालय तक नारेबाजी करते हुए पहुंच गए। एसएफआइ का कहना है कि विवि के इक्डोल केंद्र में प्रॉस्पेक्टस बेचने में लाखों का घोटाला हुआ है। केंद्र में तीन-चार साल से प्रॉस्पेक्टस बेचने का रिकॉर्ड विवि प्रशासन के पास नहीं है। यह मामला तब सामने आया जब एजी ऑडिट के दौरान अकाउंट में धांधली मिली। विवि प्रशासन की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाया कि ऑडिट ब्रांच ने इस प्रकार के भ्रष्टाचार को उजागर क्यों नहीं किया। यह दर्शाता है कि विवि प्रशासन की मिलीभगत से ही इतना बढ़ा घोटाला हुआ है। अभी तक एजी द्वारा ऑडिट जारी है, लेकिन अनुमान अनुसार यह धांधली 80 या 90 लाख रुपये की हो सकती है।

एसएफआइ का कहना है कि वर्ष 2018-2019 के लिए यूजीसी ने इक्डोल की मान्यता रद कर दी है। इसका मुख्य कारण नियमों व शर्तो को पूरा न करना बताया है। इक्डोल से हो रहे कोर्स में शिक्षकों की भारी कमी है। इक्डोल की मान्यता को इन्ही कारणों से रद किया गया, लेकिन प्रशासन इक्डोल की मान्यता को बचाने के बजाए केंद्र भ्रष्टाचार को बढ़ावा दे रहा है। कहा कि विवि में इस तरह के घोटालों को अंजाम दिया गया है, जिसके कारण विश्वविद्यालय की साख गिरी है। आज भी विवि में छात्र मूलभूत सुविधाओं से वंचित हैं और छात्रों से लिए पैसों का गबन हो रहा है। माग की कि इक्डोल प्रॉस्पेक्टस बिक्री की विजीलेंस जांच की जाए। वर्ष 2000 से अभी तक इक्डोल में हुए प्रॉस्पेक्टस लेन-देन की भी जाच की जाए। अगर प्रशासन जल्द इस मामले पर ठोस कदम नहीं उठाता है तो एसएफआइ आंदोलन को उग्र करेगी।

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आंदोलन उग्र करने की चेतावनी

अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद विवि इकाई ने इक्डोल में सामने आए घोटाले के विरोध में पिंक पेटल्स पर प्रदर्शन किया। इकाई सचिव अंकित चंदेल ने बताया कि इक्डोल में सामने आया घोटाला चार साल से विश्वविद्यालय प्रशासन के सामने होता रहा। घोटाला करोड़ों में निकल सकता है। वहीं, इक्डोल की मान्यता रद होने से हजारों विद्यार्थियों को नुकसान होगा। अंकित चंदेल ने बताया कि अगर मामले के दोषियों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई नहीं की जाती है तो आंदोलन तेज किया जाएगा।


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