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जनमंच लोगों का कार्यक्रम, सहन नहीं कोताही

जनमंच लोगों का कार्यक्रम है और इसमें कोताही बर्दाशत नहीं होगी।

By JagranEdited By: Published: Mon, 17 Sep 2018 10:01 PM (IST)Updated: Mon, 17 Sep 2018 10:01 PM (IST)
जनमंच लोगों का कार्यक्रम, सहन नहीं कोताही
जनमंच लोगों का कार्यक्रम, सहन नहीं कोताही

राज्य ब्यूरो, शिमला : जनमंच लोगों का कार्यक्रम है और इसमें कोताही बर्दाशत नहीं होगी। जनमंच से लोगों की समस्याएं मौके पर हल होती हैं। नशीले पदार्थ रोकने के लिए सख्त कानून लाया जाएगा। नशे के खिलाफ जीरो टॉलरेंस अपनाएं। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने शिमला में राज्य के उपायुक्तों व पुलिस अधीक्षकों के सम्मेलन की अध्यक्षता करते हुए यह निर्देश दिया।

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उन्होंने कहा कि सरकार की नीतियों व कार्यक्रमों को प्रभावी ढंग से लागू करने का जिम्मा डीसी व एसपी पर है। वे कानून व्यवस्था बनाने के साथ सरकार की योजनाएं लोगों तक पहुंचाएं। प्रदेश सरकार द्वारा घोषित 30 नई योजनाओं का प्रभावी क्रियान्वयन सुनिश्चित बनाया जाए। अति विशिष्ट लोगों के दौरों के दौरान पायलट वाहन के रूप में उपयोग करने के लिए हर जिले को वाहन उपलब्ध करवाया जाएगा। प्रदेश पुलिस राज्य में कानून व व्यवस्था की बेहतर स्थिति बनाए रखने में सराहनीय कार्य कर रही है। उन्होंने राज्य में नशे के बढ़ते प्रचलन पर चिंता जताई और कहा कि इस सामाजिक बुराई के खिलाफ सख्ती से निपटा जाना चाहिए। नशे से निपटने के लिए विशेष अभियान चलाने की योजना बनाई जा रही है। सभी उपायुक्तों व पुलिस अधीक्षकों को आम लोगों के साथ नियमित रूप से बैठकें करनी चाहिए ताकि सही फीडबैक प्राप्त हो। सम्मेलन में नशाखोरी की समस्या से निपटने पर चर्चा हुई। अफीम व भाग को उखाड़ने व नष्ट करने के लिए प्रभावी अभियान चलाने का निर्णय लिया गया। मुख्य सचिव विनीत चौधरी ने कहा कि डीसी व एसपी सरकार की आख व कान हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री को आश्वासन दिया कि अधिकारी राज्य सरकार की विभिन्न नीतियों व कार्यक्रमों का प्रभावी कार्यान्वयन सुनिश्चित बनाने के लिए और समर्पण से कार्य करेंगे। बैठक में अतिरिक्त मुख्य सचिवों के अलावा प्रधान सचिव, सचिव और विभिन्न विभागों के विभागाध्यक्ष मौजूद थे। वन भूमि पर रुकेगा अतिक्रमण

अतिरिक्त मुख्य सचिव (राजस्व) मनीषा नंदा ने वन भूमि पर अतिक्रमण व इसे हटाने के लिए उठाए जा रहे कदमों पर प्रस्तुति दी। उन्होंने कहा कि वन भूमि पर अवैध निर्माण व अतिक्रमण की निगरानी के लिए हर महीने बैठक की जाएगी। पुलिस महानिदेशक एसआर मरडी ने कानून व व्यवस्था पर प्रस्तुति दी। यातायात प्रबंधन व सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने पर भी प्रस्तुति दी गई। भारी बारिश के कारण इस बार 1180.40 करोड़ रुपये की सार्वजनिक व निजी संपत्तियों का नुकसान हुआ है। प्रभावितों को अब तक 230 करोड़ रुपये की सहायता दी गई है। होशियार सिंह हेल्पलाइन पर 855 शिकायतें

होशियार सिंह हेल्पलाइन के तहत 855 शिकायतें आई हैं। इनमें से 840 शिकायतों का समाधान किया गया है। गुडिया हेल्पलाइन पर मिली 892 शिकायतों में से 867 को निपटाया गया है। इस साल अब तक 172 वाहनों को जब्त किया गया है। वन अधिनियम के अंतर्गत 200 मामले पंजीकृत किए गए हैं। पुलिस अधीक्षकों ने मांगी गाड़िया व स्टॉफ

सम्मेलन में पुलिस अधीक्षकों ने थानों व चौकियों के लिए गाड़ियों व स्टॉफ की मांग की। सभी ने कहा कि कानून व्यवस्था को बेहतर करने के लिए इनकी कमी है। उन्होंने सड़क हादसे रोकने के लिए सुझाव भी दिए। हिमाचल के सभी राज्य गजट ऑनलाइन

मुख्यमंत्री ने वर्ष 1953 से लेकर अब तक के डिजिटल गजिटियर राजपत्र का शुभारंभ किया। अब यह गजिटियर प्रदेश राजपत्र पोर्टल राजजत्रहिमाचलडॉटनिकडॉटइन पर ऑनलाइन उपलब्ध होगा। हिमाचल पहला राज्य बन गया है जिसके सभी राज्य गजट ऑनलाइन उपलब्ध हैं। हिमाचल प्रदेश देश का ऐसा पहला राज्य भी है जो दैनिक आधार पर ऑनलाइन गजट्स प्रकाशित कर रहा है। शुरू हुए चार नए एप

मुख्यमंत्री ने सिरमौर के उपायुक्त द्वारा विकसित एप माई डीसी का भी शुभारंभ किया। उन्होंने राजस्व विभाग के तीन एप एकीकृत भू-नक्शा जमाबंदी, जागरूकता जिंगल्ज व सर्कल रेट एंड्रॉयड एप का भी शुभारंभ किया। इन एप से लोगों को उनकी जमीन का नक्शा पाच दिन में मिल सकेगा। भूमि की वृत दर भी एंडरॉयड फोन पर एक क्लिक पर उपलब्ध होगी। इन एप को राजस्व विभाग ने राज्य एनआइसी के सहयोग से विकसित किया है। घर बैठे जान सकेंगे सर्कल रेट

सर्कल रेट एप एंडरॉयड मोबाइल फोन पर उपलब्ध होगी। इसे दो भाषाओं में जल्द शुरू किया जाएगा। इस ऐप से लोग प्रदेश के सभी 21,174 राजस्व गावों के सर्कल रेट घर बैठे जान सकते हैं। उन्हें अपनी जमीन की किस्म व रकबा ऐप में डालकर इस पर लगने वाली स्टांप ड्यूटी और पंजीकरण शुल्क का पता भी चल सकेगा। इससे पूरी प्रक्रिया में पारदर्शिता आएगी और लोग बिचौलियों के शोषण से बच सकेंगे।


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