पुराने विद्यार्थियों से छात्रों को मिलेगी प्रेरणा
प्रदेश मुख्यमंत्री की प्रमुख योजना शिक्षा के क्षेत्र में अखंड शिक्षा ज्योति मेरे स्कूल से निकले मोती के नाम से स्कूलों में शुरू हुई है।
संवाद सूत्र, जुब्बल : अखंड शिक्षा ज्योति मेरे स्कूल से निकले मोती योजना स्कूलों में शुरू हुई है। इस योजना के तहत सरकारी स्कूलों से निकले उन पुराने छात्रों को चिन्हित करना है, जिन्होंने अपने जीवन में विशेष मुकाम को हासिल किया है। सरकारी स्कूलों से निकले ये मोती जिनके सहयोग से उस पाठशाला का उत्थान किया जा सकता है। ये मोती छात्रों के लिए प्रेरणा का स्रोत भी हैं। बच्चे इनके कदमों पर चलकर उच्च मुकाम को हासिल कर सकते हैं।
राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला जुब्बल ने इस कार्यक्रम को सुचारु रूप से अपनी पाठशाला में संचालित करने के लिए ऐसे सभी मोतियों को चिन्हित करना शुरू कर दिया है तथा पाठशाला ने, न केवल इन मोतियों को सम्मान पट्टिका पर अंकित किया, बल्कि एलईडी के माध्यम से उनके चित्र एवं संदेश से छात्रों को अवगत करवाया जा रहा है। इन व्यक्तियों को पाठशाला की वेबसाइट पर भी दिखाया जाएगा। स्कूल प्रबंधन यह सुनिश्चित करेगा कि इनको स्कूल के कार्यक्रमों में बुलाकर सम्मानित किया जाए और विद्यार्थियों के साथ रूबरू करवाया जाए, ताकि बच्चे यह समझ सकें कि इन्हीं पाठशालाओं से पढ़कर इन व्यक्तियों ने उच्च मुकाम को हासिल किया है। इस पाठशाला से निकले मोतियों ने विभिन्न क्षेत्रों में उच्च मुकाम को हासिल किया है जैसे कि राजनीति के क्षेत्र में मुख्यमंत्री रह चुके स्वर्गीय रामलाल ठाकुर, सर्वोच्च न्यायालय में जज रह चुके लोकेश्वर पांटा, उच्च न्यायालय में जज रहे भवानी सिंह जैसे बहुत उत्कृष्ट उदाहरण हैं। उल्लेखनीय है कि इन मोतियों व उनके परिवारों की सहमति से इस योजना को आगे बढ़ाया जा रहा है।
इस विषय पर स्कूल के प्रधानाचार्य पितांबर पिरटा का मानना यह है कि इस कार्यक्रम से न केवल बच्चों को प्रेरणा मिलेगी बल्कि समाज में पनप रही कई बुराइयों को समाप्त करने का माध्यम बनेगी। आधुनिक दौर में सरकारी स्कूलों में केवल वही विद्यार्थी शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं जिनके अभिभावक आर्थिक रूप से सशक्त नहीं हैं। निजी स्कूलों के छात्रों की अच्छी वेशभूषा को देखकर सरकारी स्कूल के विद्यार्थी हीन भावनाओं से ग्रसित हो जाते हैं। उन्हें लगता है कि निजी स्कूल के छात्रों को बेहतर शिक्षा मिल रही है जबकि ऐसा बिल्कुल नहीं है।
'अखंड शिक्षा ज्योति मेरे स्कूल से निकले मोती' इस योजना के माध्यम से सरकारी स्कूलों के छात्रों को हीन भावना से ऊपर उठाने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। इस तरह की हीन भावनाओं को समाप्त करने के लिए समाज के सभी गणमान्य व्यक्तियों को इस कार्यक्रम के माध्यम से एक उच्च और स्वच्छ समाज को बनाने के लिए अपने योगदान का आह्वान किया जा रहा है।