सुरेश भारद्वाज ने रिपन में जांची व्यवस्था
राजधानी शिमला में रिपन के कोरोना समर्पित अस्पताल बनने के बाद शहरी विकास मंत्री ने अस्पताल का दौर किया।
जागरण संवाददाता, शिमला : राजधानी शिमला में रिपन के कोरोना समर्पित अस्पताल बनने के बाद पहले दिन सोमवार को शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने अस्पताल का दौरा किया। उन्होंने आइसोलेशन वार्ड में मरीजों के लिए की गई व्यवस्था का जायजा लेकर उपचार से संबंधित दिशानिर्देश दिए।
उन्होंने डॉक्टरों सहित अन्य पैरामेडिकल स्टाफ को ड्यूटी के दौरान आ रही मुश्किलों और उपकरणों की कमी के संदर्भ में जानकारी हासिल की। उन्होंने अस्पताल प्रशासन से बैठक की जिसमें कार्यकारी एमएस डा. रविद्र मोक्टा व सीएमओ डा. सुरेखा चोपड़ा मौजूद रहीं। वहीं, आइजीएमसी में स्वास्थ्य मंत्री डा. राजीव सैजल के साथ शहरी विकास मंत्री कोरोना से निपटने के लिए की गई तैयारियां जांचने पहुंचे। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि आइजीएमसी की तैयारियां संतोषजनक हैं। मरीजों के उपचार से लेकर दाखिले, खाने पीने, दवाइयों सहित ऑक्सीजन का पर्याप्त स्टॉक है। भविष्य में कोरोना के मामले बढ़ने की आशंका पर की जाने वाले तैयारियों के संबंध में उन्होंने विशेषज्ञ डॉक्टरों से सुझाव लिए। उन्होंने कहा कि कोरोना के कारण लॉकडाउन लगाने की स्थिति नहीं है। प्रदेश का बड़ा स्वास्थ्य संस्थान आइजीएमसी कोरोना की चुनौती से निपटने के लिए सक्षम है। इस दौरान आइजीएमसी के एमएस डा. जनकराज सहित अन्य प्रशासनिक अधिकारी व विशेषज्ञ डाक्टर मौजूद रहे। फील्ड में उतरे जिला प्रशासन के अधिकारी
कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए जिला प्रशासन ने अधिकारी फील्ड में उतर आए हैं। शिमला में जगह-जगह जाकर लोगों को कोरोना से बचाव के प्रति जागरूक किया जा रहा है। रामपुर व रोहड़ू में कोविड सेंटर
शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि जरूरत पड़ने पर रामपुर व रोहड़ू अस्पताल को कोविड सेंटर बनाया जाएगा। कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए इन अस्पतालों में कोरोना मरीजों के उपचार की व्यवस्था होगी ताकि रिपन और आइजीमएसी पर अतिरिक्त बोझ न पड़े। स्थिति अगर अधिक गंभीर होती है तो निजी अस्पतालों से भी मदद ली जा सकती है।