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Shimla: पिता की हत्या के जुर्म में बेटे को कोर्ट ने सुनाई सात साल की सजा, बेरहमी से पिटाई की वजह से हुई मौत

Shimla पिता की हत्या के जुर्म में बेटे को कोर्ट ने सात साल की सजा सुनाई है। अदालत ने एक अहम फैसला सुनाते हुए आरोपित पुत्र को दोषी मानते हुए सात साल का कठोर कारावास व 10 हजार रुपये जुर्माना की सजा सुनाई है।

By narveda kaundalEdited By: MOHAMMAD AQIB KHANPublished: Thu, 01 Jun 2023 05:40 PM (IST)Updated: Thu, 01 Jun 2023 05:40 PM (IST)
Shimla: पिता की हत्या के जुर्म में बेटे को कोर्ट ने सुनाई सात साल की सजा, बेरहमी से पिटाई की वजह से हुई मौत
Shimla: पिता की हत्या के जुर्म में बेटे को कोर्ट ने सुनाई सात साल की सजा : जागरण

शिमला / रामपुर बुशहर, जागरण संवाददाता: जिला एवं सत्र न्यायाधीश किन्नौर स्थित रामपुर की अदालत ने एक अहम फैसला सुनाते हुए आरोपी 24 वर्षीय अभिषेक नेगी पुत्र मिंया राम को निवासी गांव कंगोस डाकघर शोलडिंग तहसील निचार जिला किन्नौर को कठोर कारावास सात साल व 10 हजार रुपये जुर्माना की सजा सुनाई है।

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फैसले की जानकारी देते हुए उप जिला न्यायवादी केएस जरयाल ने बताया कि मृतक 50 वर्षीय मिंया राम पुत्र गोपाल सिंह गांव कंगोस डाकघर शोलडिंग तहसील निचार जिला किन्नौर जो बिजली बोर्ड भावानगर जिला किन्नौर में बतौर टी-मेट कार्यरत था और भावानगर में एचपीएसीबी कलौनी में सरकारी क्वाटर में रहता था।

कमरे में बंद कर बेरहमी से पिटाई

10 जनवरी 2018 को मृतक मिंया राम अपने सरकारी क्वाटर में मौजूद था तो उसके लड़के अभिषेक ने अपने पिता (मृतक) को कमरे में बंद करके डंडे व हाथ से पिटाई की इससे उन्हें गंभीर चोटें आने के कारण इलाज के लिए आईजीएमसी शिमला रैफर किया। इलाज के दौरान शिमला में मिंया राम की मृत्यु हो गई। जिस पर थाना भावानगर में धारा 302 आईपीसी के तहत मुकद्दमा पंजीकृत किया गया।

सात साल कठोर कारावास व 10,000 रुपये जुर्माना

तफ्तीश पूर्ण होने पर चालान अदालत में पेश किया गया। दौराने मुकदमा की सुनवाई कुल 20 गवाहों के साक्ष्य दर्ज किए गए। सभी साक्ष्य, गवाहों के ब्यान व वैज्ञानिक साक्ष्य के आधार पर मृतक के पुत्र अभिषेक नेगी को हत्या का दोषी पाया गया और अदालत ने धारा 304 (द्वितीय) आईपीसी में सात साल कठोर कारावास व 10,000 रुपये जुर्माना और धारा 342, 323 आइपीसी में एक साल साधारण कारावास की सजा सुनाई। सरकार की ओर से मुकद्दमे की पैरवी उप जिला न्यायवादी केएस जरयाल व उप जिला न्यायवादी कमल चंदेल ने की।


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