नगर परिषद के जल भंडारण टैंक से व्यर्थ बह रहा पानी
दूसरों को नसीहत खुद मियां फजीहत। यह कहावत जोगेंद्रनगर में जलशक्ति विभाग और नगर परिषद पर सही बैठती है।
संवाद सहयोगी, जोगेंद्रनगर : दूसरों को नसीहत, खुद मियां फजीहत। यह कहावत जोगेंद्रनगर में जलशक्ति विभाग और नगर परिषद पर सही बैठती है। नारों से उपभोक्ताओं को पेयजल संरक्षण का संदेश देने वाला विभाग स्वयं ही पेयजल संरक्षण करना भूल गया है।
नगर परिषद जोगेंद्रनगर क्षेत्र में सालों पुरानी जंग लगी पेयजल पाइपलाइन से प्रतिदिन हजारों लीटर पानी व्यर्थ बह रहा है। खस्ताहाल पाइपलाइन को दुरुस्त करने के बजाय जुगाड़ के सहारे पेयजल आपूर्ति की जा रही है। हजारों लीटर की क्षमता वाले जल भंडारण टैंकों के ओवरफ्लो होने पर पानी की बर्बादी को रोकने के लिए नगर परिषद के पास कोई विकल्प नहीं है। लंबे अरसे से नगर परिषद जोगेंद्रनगर के मुख्य जल भंडारण टैंकों में पेयजल ओवरफ्लो हो रहा है। जबकि ग्रामीण क्षेत्रों में प्राकृतिक पेयजल स्रोत के लुप्त होने पर कुछ लोग नदियों और खड्डों का दूषित पानी पीने के लिए मजबूर हो रहे हैं। नगर परिषद में उपभोक्ताओं के घरों और दुकानों में पेयजल भंडारण टैंकों के ओवरफ्लो पर नोटिस जारी कर जवाब तलब करने वाला विभाग स्वयं पेयजल व्यर्थ बहाने पर आमादा है।
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पेयजल संरक्षण के लिए विभाग सतर्क है। जहां पर पेयजल व्यर्थ बह रहा है, उस बारे में सबंधित विभाग को आवश्यक दिशा-निर्देश जारी किए जाएंगे। क्षतिग्रस्त पाइपलाइनों को भी दुरुस्त कर दिया गया है।
-सूक्ष्म नाग, सहायक अभियंता, जलशक्ति विभाग, जोगेंद्रनगर।