बीबीएमबी अस्पताल सुंदरनगर में भी होगा कोरोना से संक्रमितों का उपचार
जागरण संवाददाता मंडी मंडी जिला में कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को देखते हुए प्रशासन
जागरण संवाददाता, मंडी : मंडी जिला में कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को देखते हुए प्रशासन ने सुंदरनगर के बीबीएमबी कॉलोनी स्थित अस्पताल को डेडिकेटिड कोविड स्वास्थ्य एवं देखभाल केंद्र बनाया है। 40 बैड की सुविधा वाला यह स्वास्थ्य एवं देखभाल केंद्र सोमवार से शुरू होगा। यहां कोरोना संक्रमण के लक्षणों वाले रोगियों को डॉक्टरों की देखरेख में रखा जा सकेगा। हर बिस्तर पर ऑक्सीजन की सुविधा रहेगी। स्वास्थ्य विभाग ने इसके लिए पूरी व्यवस्था कर ली है। वहां प्रतिनियुक्त पर तैनात स्टाफ को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। उपायुक्त ऋग्वेद ठाकुर ने कोरोना की स्थिति और नियंत्रण पर विचार विमर्श के लिए बुलाई बैठक में यह जानकारी दी।
ऋग्वेद ठाकुर कहा कि कोराना के बढ़ते खतरे के मद्देनजर सभी को सावधानी बरतने की जरूरत है। उन्होंने लोगों से अपील की कि जब तक कोरोना की दवाई नहीं आ जाती सामाजिक गतिविधियों, सभाओं व एक जगह इकट्ठा होने वाले आयोजनों को टाल दें। कोराना से बचाव को लेकर जारी सरकारी निर्देशों का पालन करें। जनसहयोग से ही कोरोना के खिलाफ जारी इस जंग में विजय होगी। बैठक में एडीएम श्रवण मांटा, सीएमओ डा. देवेंद्र शर्मा, जिला स्वास्थ्य अधिकारी डा. दिनेश ठाकुर, डा. अरिदम रॉय सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
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भंगरोटू मैदान में बनेगा फैब्रीकेटिड अस्पताल
भंगरोटू मैदान में भी कोरोना मरीजों के लिए फैब्रीकेटिड अस्पताल बनाया जा रहा है। यह जनवरी तक बनकर तैयार होगा। 80 बैड के इस अस्पताल में भी हर बैड पर ऑक्सीजन की सुविधा रहेगी। इससे नेरचौक मेडिकल कॉलेज पर मरीजों का दबाव कम होगा।
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कोरोना टेस्टिग में लाई जाएगी तेजी
जिला में कोरोना मामलों की टेस्टिग में और तेजी लाई जाएगी। कोरोना जांच के लिए रोजाना कम से कम एक हजार सैंपल लिए जाएंगे। सैंपल की संख्या बढ़ाने के लिए सभी विकास खंडों को लक्ष्य दिए गए हैं।
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43 केंद्रों पर रेपिड एंटीजन टेस्ट की सुविधा
जोनल अस्पताल मंडी और नेरचौक मेडिकल कॉलेज के साथ जिला के सभी सिविल अस्पतालों में रेपिड एंटीजन टेस्ट की सुविधा उपलब्ध है। इसके अलावा स्वास्थ्य विभाग ने और भी केंद्र स्थापित किए हैं। जिला में कुल 43 केंद्रों पर रेपिड एंटीजन टेस्ट किए जा रहे हैं।
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लोगों से आग्रह करवाएं कोरोना जांच
उपायुक्त ने लोगों से आग्रह किया है कोरोना जांच करवाने के लिए आगे आएं। यह समझने की जरूरत है कि कोरोना जांच से रोग का जल्द पता लगने से समय रहते इलाज संभव है। इससे बहुमूल्य जीवन बचाए जा सकते हैं। किसी में कोरोना के लक्षण हों तो वे छिपाएं नहीं और न ही घर पर मनमर्जी से दवाई खाएं। तुरंत अस्पताल में रेपिड एंटीजन टेस्ट करवा लें। इसकी रिपोर्ट 15 से 20 मिनट में आ जाती है। रोग का जल्दी पता लगने से समय पर उचित इलाज दे पाना संभव होगा जिससे बहुमूल्य जीवन बचेंगे।
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देरी से बिगड़ रही मरीज की हालत
उपायुक्त ने कहा कि कोरोना लक्षण आने पर भी डॉक्टर की मदद लेने में देरी से मरीजों की हालत बिगड़ रही हैं। अस्पताल में मरीजों के देरी से पहुचने के कारण गंभीर मामलों में उन्हें बचा पाना मुश्किल हो जाता है। जरूरी है कि डॉक्टरी मदद लेने में देरी न करें। नेरचौक मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में लाए गए सैकड़ों बीमारों-बुजुर्गों ने समय पर इलाज से कोरोना की जंग जीती है। यह पाया गया है कि जिसने भी कोरोना संक्रमण के लक्षण आते ही तुरंत जांच करवाई और रोग का जल्द पता लगने से समय पर नेरचौक अस्पताल में जाकर इलाज करवाया है वे सभी मरीज ठीक होकर अपने घर गए हैं।
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समारोह आयोजन की अनुमति के लिए ऑनलाइन करें आवेदन
कोरोना काल में सामाजिक समारोहों की अनुमति को लेकर ऑलनलाइन ओवदन किया जा सकता है। इसके लिए वेब पोर्टल पर अनुमति मांगी जा सकती है। शादी या अन्य किसी भी समारोह में सम्मिलित होते हुए मास्क अवश्य पहनें। सैनिटाइर का इस्तेमाल करें और सामाजिक दूरी के नियमों का पालन करें।