बेजुबान अपने बसेरे से देखेंगे खुला आसमान
उपमंडल गोहर में पशुपालन विभाग ने गो अभ्यारण्य खोलने की कवायद शुरू कर दी
मृगेंद्र पाल, गोहर
उपमंडल गोहर में पशुपालन विभाग ने गो अभ्यारण्य खोलने की कवायद शुरू कर दी है। इसके लिए पशुपालन विभाग ने नाचन वनमंडल की जबराट वन बीट में चिह्नित की गई 467 बीघा भूमि को गो अभ्यारण्य बनाने के लिए उपयुक्त पाया है। अब इसके लिए वन विभाग से एनओसी के लिए आवेदन कर दिया है। एसडीएम गोहर की अगुआई में विभिन्न विभागों की ओर से इस जमीन का संयुक्त निरीक्षण किया गया। संयुक्त निरीक्षण में निदेशक पशु पालन विभाग मंडी संजीव नड्डा, उपनिदेशक रवि ठाकुर, उपमंडल चिकित्सा अधिकारी डा. किशोर कुमार, राजस्व विभाग की ओर से तहसीलदार कृष्ण कुमार सहित जलशक्ति विभाग, लोक निर्माण विभाग और विद्युत विभाग के कर्मचारी मौजूद रहे। तमाम औपचारिकताएं निपटाने के बाद पशुपालन विभाग ने अब आगामी कार्रवाई शुरू कर दी है।
वर्तमान में गोहर इलाके में सैकड़ों बेसहारा पशु गावों के आसपास सड़कों पर छोड़े गए हैं। इनके रहने का कोई स्थायी ठिकाना नहीं है और धूप, बारिश व सर्दी में सड़कों पर घूमते रहते हैं। अधिकतर बेसहारा पशु सड़कों पर दुर्घटनाओं का शिकार भी हो जाते है। किसानों भी इनकी बढ़ती तादाद से परेशान हैं।
अभ्यारण्य में मिलेंगी ये सुविधाएं
अभ्यारण्य क्षेत्र में पशुओं के लिए अतिरिक्त चारे (तूड़ी) की व्यवस्था की जाएगी। इसके अलावा खुरलियां व टंकियां बनाकर जगह-जगह पानी की व्यवस्था की जाएगी। पशुओं को धूप बारिश व विपरीत मौसम से बचाने के लिए पांच बीघा जमीन पर शेल्टर का निर्माण किया जाएगा। अभ्यारण्य के चारों ओर 467 बीघा भूमि पर फेंसिग होगी, ताकि अंदर से पशु बाहर न जा सकें और जंगली जानवर आक्रमण न कर सकें।
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गोहर में एक गो अभ्यारण्य बनाने के लिए चैलचौक के समीप करीब 467 बीघा भूमि चिह्नित की गई है। वन विभाग से इसकी एनओसी के लिए भी आवेदन किया गया है। एनओसी मिलने व बजट का प्रविधान होने पर तुरत अभ्यारण्य बनाने का कार्य शुरू हो जाएगा। इससे क्षेत्र के सैकड़ों किसानों को बड़ी राहत मिलेगी।
-रमण शर्मा, एसडीएम गोहर।