मिला आश्वासन, हड़ताल समाप्त
पशुपालन विभाग संयुक्त निदेशक कार्यालय पालमपुर में 15 दिनों से जारी शीप शेयरर की हड़ताल सोमवार को वूल फेडरेशन के चेयरमैन एवं अनुसूचित जनजाति मोर्चा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष त्रिलोक कपूर के आश्वासन के बाद समाप्त हो गई। हालांकि इससे पहले शीप शेयरर व घूमंतु भेड़पालकों ने पालमपुर बाजार में रोष प्रदर्शन करते हुए एसडीएम के माध्यम से
संवाद सहयोगी, पालमपुर : पशुपालन विभाग संयुक्त निदेशक कार्यालय पालमपुर में 15 दिन से जारी शीप शेयरर की हड़ताल सोमवार को खत्म हो गई। वूल फेडरेशन के चेयरमैन एवं अनुसूचित जनजाति मोर्चा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष त्रिलोक कपूर के आश्वासन के बाद हड़ताल समाप्त की गई। इससे पहले शीप शेयरर व घुमंतू भेड़पालकों ने पालमपुर बाजार में प्रदर्शन करते हुए एसडीएम के माध्यम से मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर को ज्ञापन भेजा है।
त्रिलोक कपूर ने कहा कि वूल फेडरेशन के माध्यम से वह भेड़पालकों को साल में दो बार भेड़ों की ऊन निकालने और कातने का काम करवाते रहे हैं। वहीं फेडरेशन के अन्य काम भी लेते रहे हैं। शीप शेयरर को सरकार की तरफ से कोई भी ठोस सुविधा नहीं है और न ही स्थायी रोजगार का कोई प्रावधान है। यही वजह है कि 15 दिन से रोजगार के स्थायी समाधान की मांग के समर्थन में शीप शेयरर हड़ताल पर थे। आजकल घुमंतू भेड़पालक हिमालय पर्वतों से मैदानी इलाकों की तरफ लौटते हैं और मुख्य पड़ावों में रुककर भेड़ों से ऊन निकालने का कार्य करवाते हैं। सरकार ने शीप शेयरर को ऊन निकालने के लिए प्रशिक्षित करने के साथ आस्ट्रेलिया व न्यूजीलैंड से आधुनिक मशीनें भी उपलब्ध करवाईं हैं। शीप शेयरर की हड़ताल से भेड़पालक परेशान थे। सरकार ने इसका संज्ञान लेकर उन्हें मध्यस्थता करने के निर्देश देकर हड़ताल वापस लेने को कहा था। सोमवार को शीप शेयरर से लंबी बातचीत कर उन्हें दोबारा आश्वासन दिया कि आचार सहिता हटते ही उनकी समस्या का समाधान करने की कोशिश की जाएगी। इस मौके पर गद्दी यूनियन महामंत्री विजय भट्ट, भाजपा प्रदेश अनुसूचित जनजाति महामंत्री सुरेंद्र कपूर, मीडिया प्रभारी अमर सिंह, भाजपा जनजाति मोर्चा जिला अध्यक्ष ललित कपूर, ओमप्रकाश, प्रेम चंद, मंडल पालमपुर अध्यक्ष डॉ. हरवंश बंटी, अजीत कुमार, धर्मचंद मकड़ मौजूद रहे।
एसडीएम पंकज शर्मा ने कहा कि भेड़ पालकों की मांग को सरकार तक पहुंचाया जाएगा। शीप शेयरर यूनियन अध्यक्ष मालवर ने बताया कि 15 वर्षों से वूल फैडरेशन के लिए आधुनिक आयतित मशीनों के माध्यम से सुविधाओं के अभाव में भी शीप शेयरिग का कार्य घुमंतु भेड़पालकों को जंगल में जाकर प्रदान कर रहे हैं। वर्षों से कमीशन पर ही शेयरिग का कार्य लिया जा रहा है। जबकि उनके भविष्य के बारे सरकार को कोई ध्यान नहीं है। इस समय प्रदेश में लगभग 4 लाख घुमंतू भेड़ें हैं। इन्हें वर्ष में दो बार मशीन से ऊन कटाई के लिए 50 से 60 शीप शेयररों की जरूरत है। लेकिन सरकार व वूल फैडरेशन की अनदेखी से कई वर्षों से शोषण सहन कर रहे हैं। हिमाचल घुमंतु पशुपालक महासभा प्रदेश सचिव पवना कुमारी ने बताया कि सरकार को शीप शेयरर की मांगें जल्द से जल्द पूरी करनी चाहिए।
------------------
जल्द बुलाई जाए निदेशक मंडल की बैठक
वूल फेडरेशन के चेयरमैन रघवीर सिंह ठाकुर ने मांग की है कि प्रदेश वूल फेडरेशन के निदेशक मंडल की बैठक शीप शेयरर के मुद्दे पर जल्द बुलाई जाएगी। मशीनों द्वारा भेड़ ऊन कटाई कार्य फेडरेशन की एक महत्वपूर्ण गतिविधि है, जिसके लिए प्रशिक्षित शीप शियररों की आवश्यकता रहती है। निदेशक मंडल की ओर से प्राय: भी शीप शेयररों के पद सृजित करने के लिए प्रस्ताव भेजे जाते रहे हैं, परंतु इसके लिए वित्त पोषण तथा सरकार की स्वीकृति अनिवार्य है।