न्यूट्रीशन से मजबूत कर रहे नौनिहालों की नींव
सरकार आंगनबाड़ी स्तर से ही शून्य से तीन साल और तीन से छह साल तक के बच्चों को न्यूट्रीशन मुहैया करवा रही है।
पालमपुर, जेएनएन। नौनिहालों को कुपोषण से बचाने के लिए सरकार आंगनबाड़ी स्तर से ही शून्य से तीन साल और तीन से छह साल तक के बच्चों को न्यूट्रीशन (पोषाहार) मुहैया करवा रही है। इसके लिए बाल विकास परियोजना कार्यालय की ओर से बाकायदा एक रूटीन चार्ट आंगनबाड़ी केंद्रों को भेजा गया है। अगर बात पालमपुर क्षेत्र की कि जाए तो यहां मौजूद 224 आंगनबाड़ी और छह मिनी आंगनबाड़ी में कार्यकर्ता व सहायिका के जरिए बच्चों को न्यूट्रीशन से भरपूर पाउडर और बिस्किट सहित, दलिया, चावल, चने, मूंग की दाल, रिफाइंड, चीनी, अजवाइन के बिस्किट आदि मुहैया करवाए जा रहे हैं। दलिया मूंग की आदि तो आंगनबाड़ी केंद्रों में आने वाले बच्चों को वहीं पर पकाकर खिलाया जाता है।
12 कुपोषित बच्चों को दिया जाता है अंडा जो बच्चे कमजोर या कुपोषण के शिकार होते हैं उनके लिए विशेष तौर पर अंडे का प्रावधान भी आंगनबाड़ी केंद्रों में किया जाता है। पालमपुर बाल विकास परियोजना कार्यालय के क्षेत्र में आने वाले क्षेत्र में 12 बच्चे कुपोषित हैं, जिनको आंगनबाड़ी केंद्रों के उबला हुआ अंडा दिया जाता है।
न्यूट्रीशन पाउडर में यह होता है खास बच्चों को आंगनबाड़ी केंद्र में दिए जाने वाले न्यूट्रीशन पाउडर में रोस्टेड बीट, सोयाबीन का आटा, काले चने पिसे हुए, शूगर मिक्स, कैलसियम, और प्रोटीन की भरपूर मात्रा से युक्त पदार्थ होते हैं। यह पाउडर भी बच्चे की उम्र के हिसाब से दिया जाता है।
कुपोषण से बच्चों को बचाने के लिए आंगनबाड़ी के माध्यम से बेहतर पौष्टिक तत्व मुहैया करवाए जा रहे हैं। साथ ही गर्भवती महिलाओं को भी बेहतर प्रोटीन युक्त भोजन दिया जाता है। पामलपुर के तहत 230 आंगनबाड़ी केंद्रों में यह आहार दिए जा रहे हैं।
-दिनश चंद्र, बाल विकास परियोजना अधिकारी पालमपुर।