नशा तस्कर को 11 साल का कठोर कारावास व डेढ़ लाख जुर्माने की सजा
दूर संचार सुविधा एवं एसटीडी के आड़ में नशा तस्करी व बिना रिकार्ड के सोना व चांदी के गहने रखने वाले दोषी को न्यायधीश रणजीत सिंह ठाकुर ने11 साल कठोर कारावास व डेढ़ लाख रुपये जुर्मान
धर्मशाला,जेएनएन। दूर संचार सुविधा एवं एसटीडी के आड़ में नशा तस्करी व बिना रिकार्ड के सोना व चांदी के गहने रखने वाले दोषी को न्यायधीश रणजीत सिंह ठाकुर ने11साल कठोर कारावास व डेढ़ लाख रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है। जुर्माना न अदा करने की सूरत में दोषी को तीन साल अतिरिक्त कारावास की सजा काटनी होगी। दोषी कुलदीप चंद निवासी शीतला स्वाणा जसवां कोटला को देहरा पुलिस ने गुप्त सूचना के आधार पर 3 जुलाई 2016 को चिंतपूर्णी बाजार में पकड़ा था।
जिला न्यायवादी राजेश वर्मा ने बताया कि कुलदीप चंद चिंतपूर्णी में एसटीडी चलाता था। देहरा पुलिस को उनकी नशा तस्करी की सूचना मिली थी। जिसके आधार पर पुलिस ने 3 जुलाई चिंतपूर्णी बाजार में उसके पास से 100 ग्राम चरस व 100 ग्राम अफीम और 30 हजार 500 रुपये नकदी बरामद हुई। इसके बाद पूछताछ के बाद पुलिस ने उसके घर में दबिश देकर कुल 1 किलो 600 ग्राम चरस व 600 ग्राम अफीम के साथ साथ एक लाख 30 हजार रुपये नकदी राशि, तीन अमेरिकी डॉलर व सात बोरियां में भरे हुए एक दो व दस रुपये के सिक्के बरामद हुए। इसके अलावा उसके घर से आठ जोड़ी सोने की बालियां, दो जोड़ी टॉप्स, चार अंगूठियां, दो लॉकेट, तीन नाक में डालने वाली तिल्लियां, चार चेन, एक नत्थ, एक टिक्का, एक चांदी के पायल की जोड़ी के अलावा अन्य चांदी के गहने बरामद हुए। इन गहनों पर विशेष स्लिप लगीं थीं। इसके अलावा अन्य संदिग्ध सामग्री भी बरामद हुई थी।
पुलिस कार्रवाई के बाद मामला अदालत में गया। मामले में अभियोजन पक्ष की ओर से केस की पैरवी संदीप अग्निहोत्री व एलएम शर्मा ने की। अभियोजन पक्ष की ओर से कुल 16 गवाह पेश किए गए। गवाहों के ब्यानों के आधार पर दोषी कुलदीप चंद को 11 साल कठोर कारावास व जुर्माना की सजा सुनाई है।