नूरपुर का नाम वजीर राम सिंह नगर रखने की पैरवी
शिमला के नाम को बदलने की अटकलों के बीच नूरपुर में भी नूरपुर का नाम बदलने की मांग उठना शुरू हो गई है। सोमवार को विश्व ¨हदु परिषद के विभाग अध्यक्ष उदय पठानिया की अगुवाई में ¨हदु संगठन ने नूरपुर में एसडीएम के
संवाद सहयोगी, नूरपुर : शिमला का नाम बदलने की मांग के बाद अब नूरपुर का नाम बदलने की भी मांग उठी है। सोमवार को विश्व हिंदू परिषद के विभाग अध्यक्ष उदय पठानिया की अगुवाई में ¨हदू संगठनों ने एसडीएम के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा और नूरपुर का नाम बदलकर वजीर राम ¨सह नगर रखने की मांग की। हिंदू संगठनों का तर्क है कि नूरजहां के नाम पर ही नूरपुर का नाम रखा गया था और इसे शीघ्र बदलना चाहिए। उदय पठानिया ने कहा, वजीर राम ¨सह पठानिया ने 1846 में अंग्रेजों के खिलाफ आजादी का बिगुल फूंका था और स्थानीय युवकों को साथ लेकर कई साल तक अंग्रेजों के खिलाफ मुहिम छेड़ी थी। वजीर राम ¨सह पठानिया ने 1846 से 1849 तक छापामार युद्ध से अंग्रेजों को चुनौती दी थी और इसके बाद अंग्रेजों ने धोखे से उन्हें पकड़कर रंगून की जेल में आजीवन कारावास के लिए भेजा था। अंग्रेजों ने उन पर राजद्रोह, कत्ल, लूटमार, और आगजनी के आरोप लगाकर मृत्युदंड की सजा सुनाई थी लेकिन बाद में तत्कालीन गवर्नर ने 11 अक्टूबर, 1849 को मृत्युदंड को आजीवन कारावास में बदला था। इसके बाद 11 नवंबर, 1856 को अंग्रेजों की यातनाओं के बाद उन्होंने प्राण न्योछावर किए थे। इस अवसर पर बजरंग दल के प्रांत सुरक्षा प्रमुख सभ्य लोहटिया, प्रचार प्रसार जिला प्रमुख शेखर पठानिया, प्रखंड कार्य अध्यक्ष ऋषी डोगरा, प्रखंड मंत्री राजेश पठानिया सहित विश्व ¨हदू परिषद व बजरंग दल के कार्यकर्ता मौजूद रहे।