सीयू स्टेटस से अनजान, स्मार्ट सिटी में मर्ज क्षेत्र क्यों नहीं
जन चेतना संस्था ने केंद्रीय विश्वविद्यालय के मौजूदा स्टेटस के साथ-साथ स्मार्ट सिटी के एरिया बेस्ड डेवलपमेंट एबीडी में मर्ज क्षेत्र को शामिल न किए जाने पर जहां सवाल खड़े किए हैं वहीं धर्मशाला विधानसभा क्षेत्र में उपचुनाव
संवाद सहयोगी, धर्मशाला : जन चेतना संस्था ने केंद्रीय विश्वविद्यालय के मौजूदा स्टेटस के साथ-साथ स्मार्ट सिटी के एरिया बेस्ड डवलपमेंट (एबीडी) में मर्ज क्षेत्रों को शामिल न करने पर सवाल खड़े किए हैं। साथ ही उपचुनाव के लिए मैदान में उतरे प्रत्याशियों को भी इन्हें प्राथमिकता में शामिल करने की मांग उठाई है।
हालांकि कार्यक्रम में कांग्रेस प्रत्याशी विजय इंद्र कर्ण के अलावा आजाद उम्मीदवार राकेश चौधरी ने शिरकत की जबकि भाजपा के विशाल नैहरिया नहीं आए। इन दोनों प्रत्याशियों के समक्ष जन चेतना ने सीयू, स्मार्ट सिटी, पुस्तकालय में ईवीएम, शाहनहर कार्यालय स्थानांतरण के अलावा सीवरेज सुविधा से वंचित क्षेत्रों में क्यों सुविधा नहीं है पर सवाल उठाया। दोनों ही प्रत्याशियों ने इन मुद्दों को प्राथमिकता बताया। कार्यक्रम में राज्यसभा सदस्य विप्लव ठाकुर के अलावा स्वास्थ्य मंत्री विपिन परमार व सुलह के पूर्व विधायक जगजीवन पाल भी पहुंचे। उन्होंने जन चेतना को आश्वास्त किया कि आचार संहिता हटते ही इन मामलों पर वे सकारात्मक कदम उठाएंगे। ऐसा पहली बार हुआ है जब किसी संस्था ने विधायक पद के प्रत्याशियों के समक्ष इन मामलों को उठाया और उनकी इस दिशा में क्या सोच है और वह भविष्य में क्या करेंगे, इस पर उनके विचारों को जाना।
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कार्यक्रमका उद्देश्य सीयू का जल्द निर्माण, स्मार्ट सिटी के एडीबी में मर्ज क्षेत्रों को शामिल करना, जिला पुस्तकालय से ईवीएम को हटा किसी सुरक्षित स्थान में रखना, शाहनहर के मुख्य अभियंता कार्यालय पुन: फतेहपुर में खुलवाना व बिना सीवरेज वाले क्षेत्रों को सुविधा दिलाना रहा है।
-एससी धीमान, अध्यक्ष जन चेतना संस्था।
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सीयू का निर्माण मेरी गृह पंचायत जदरांगल में होना है और यह मेरी प्राथमिकता में शामिल है। इसके लिए 600 कनाल भूमि स्थानांतरण की बात है, लेकिन यह हुई भी है या नहीं यह कोई नहीं जानता। जहां तक बात स्मार्ट सिटी की है तो परियोजना में मर्ज क्षेत्रों को भी शामिल किया जाना चाहिए था। मौजूदा समय में गांव से शहर में आए क्षेत्र अब भी गांवों जैसे ही हैं। इनमें कोई भी शहरी निकाय वाली सुविधा नहीं है। नेता केवल नेतागीरी ही चमकाते हैं।
-राकेश चौधरी, आजाद प्रत्याशी।
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सभी मुद्दों के लिए आंदोलन की जरूरत है और इसके लिए बुद्धिजीवियों के साथ शहर की जनता को भी आवाज बुलंद करनी होगी। यदि सभी मिलकर चलेंगे तो शहर में ऐसी कोई समस्या या योजना नहीं होगी जिसका हल या फिर वे शुरू न हो पाएं। इसके लिए मैं स्वयं आंदोलन करने से पीछे नहीं हटूंगा। जहां तक सीयू के भवनों के शिलान्यास की बात है तो भाजपा ने लोकसभा चुनाव में वोट बैंक की खातिर यह कदम उठाया है।
-विजय इंद्र कर्ण, कांग्रेस प्रत्याशी।
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चुनाव के बाद सरकार व प्रशासनिक अधिकारियों के साथ इन मुद्दों पर चर्चा की जाएगी। जन चेतना की मांगें जायज हैं और प्रशासन व सरकार की ओर से जो भी कमी रही है या हो रही है उसे जनमंच की तरह उठाकर संस्था इनकाहल करवाने के लिए जो प्रयास कर रही है वह सराहनीय है।
-विप्लव ठाकुर, राज्यसभा सदस्य