उम्र 88 पार...साहब ने किया सत्कार
देहरा के कल्लरू गांव निवासी जीतू राम सहमी से आवाज में बोले...साहब पांच बेटे हैं, लेकिन कोई सहारा नहीं।
धर्मशाला, जेएनएन। वीरवार दोपहर डेढ़ बजे का वक्त..उपायुक्त यानी डीसी कार्यालय के बाहर फरियादियों की भीड़ लगी थी। कुछ महत्वपूर्ण कार्य निपटाने के बाद डीसी कांगड़ा संदीप कुमार ने फरियादियों की समस्याएं सुनने का क्रम शुरू किया। कुछ लोग कुर्सियों में बैठे गए तो कुछेक प्रार्थना पत्रों के साथ डीसी के समक्ष समस्याएं बताने लगे। इस बीच बड़ी मुश्किल से डीसी ऑफिस का दरवाजा खोलकर एक बुजुर्ग अंदर आए... एक हाथ में बुढ़ापे का सहारा लाठी और दूसरे में एक प्रार्थना पत्र....गले में लटकाया एचआरटीसी की बसों में कुछ डिस्काउंट दिलाने वाला कार्ड।
कुछ देर कदम ऑफिस में प्रवेश करते ही रुके और फिर बड़ी मुश्किल से एक खाली कुर्सी की ओर बढऩे लगे, लेकिन कुर्सी में बैठते ही लाठी छूटकर नीचे गिरी। एक आवाज ने सभी को चौंका दिया। डीसी संदीप कुमार तुरंत कुर्सी से उठे और ऑफिस में सबसे पीछे बैठने का प्रयास कर रहे 88 वर्षीय बुजुर्ग के पास खुद पहुंच गए।
कल्लरू गांव निवासी जीतू राम सहमी से आवाज में बोले...साहब पांच बेटे हैं, लेकिन कोई सहारा नहीं। जिस मकान में अपने दम पर अकेला रह रहा हूं...वह भी अब गिरने वाला है। आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है। मकान की कुछ मरम्मत करवा दें तो बरसात गुजर जाएगी। बड़ी मुश्किल से देहरा से यहां तक बस में पहुंचा हूं....गले में
लटकाए कार्ड को दिखाते हुए बोले, किराये में भी कुछ छूट नहीं मिली। प्रार्थना पत्र पढऩे के बाद डीसी ने तुरंत कार्यालय स्टाफ को बुलाया और उक्त बुजुर्ग को पहले पानी व चाय पिलाने के निर्देश दिए और उसके बाद उनके पास लाने के लिए कहा। जीवन के अंतिम पड़ाव की ओर बढ़ रहे जीतू राम, सत्कार देखकर हैरान थे और केवल दुआएं ही निकल रही थी। जीतू राम का कहना था कि उसके पांच बेटे व बहुएं हैं लेकिन कोई उसकी देखभाल नहीं करता। वह अपने स्तर पर आज भी अकेले पुराने जर्जर मकान में जीवन यापन कर रहा है। उसे कुछ नहीं चाहिए केवल मकान की मरम्मत हो जाए तो आने वाली बरसात गुजर जाएगी।
बुजुर्ग आए थे और उनकी समस्या सुनी है। एसडीएम देहरा को फोन पर निर्देश दिए हैं कि जीतू राम से वह मिलें और उनकी समस्या का समाधान करें। जो भी मदद होगी प्रशासन करेगा।
-संदीप कुमार, उपायुक्त कांगड़ा