जनरल जोरावर सिंह के जीवन से लें प्रेरणा
हिमाचल प्रदेश केंद्रीय विश्वविद्यालय धर्मशाला के धौलाधार परिसर में जनरल जोरावर के जीवन पर व्याख्यमाला का आयोजन किया गया।
जागरण संवाददाता, धर्मशाला : हिमाचल प्रदेश केंद्रीय विश्वविद्यालय धर्मशाला के धौलाधार परिसर में डॉ. जगदेव चंद स्मृति शोध संस्थान नेरी की प्रदेश केंद्रीय विश्वविद्यालय इकाई ने आठवीं त्रैमासिक व्याख्यानमाला का आयोजन किया। इसकी अध्यक्षता शोध संस्थान नेरी के अध्यक्ष विजय मोहन कुमार पुरी ने की। कार्यक्रम में समन्वयक चेतराम गर्ग व डॉ. वेद अग्नि विशिष्ट अतिथि के रूप में मौजूद रहे।
मुख्य वक्ता डॉ. राकेश कुमार शर्मा ने जनरल जोरावर सिंह व्यक्तित्व, कृतित्व एवं राष्ट्र के प्रति उनके योगदान व्याख्यान दिया। उन्होंने जोरावर सिंह को विश्व का महान योद्धा बताया। उन्होंने कहा कि जोरावर सिंह ने लद्दाख बाल्टिस्तान व पश्चिमी तिब्बत की ओर अभियान करके उन क्षेत्रों को सुरक्षित किया। साथ ही लद्दाख व बाल्टिस्तान को जम्मू राज्य में मिलाया। जनरल जोरावर सिंह का मानना था कि यह क्षेत्र भारत के अभिन्न अंग हैं। माइनस डिग्री तापमान में डोगरा सैनिकों सहित इतने बड़े अभियान को अंजाम देना बहुत दुर्गम कार्य रहा है। सामरिक दृष्टि से लद्दाख का क्षेत्र भारत के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। जोरावर सिंह का कार्य किसी व्यक्तिगत स्वार्थ अथवा राज्य लिप्सा के कारण नहीं अपितु विशुद्ध राष्ट्रीय कारणों से प्रेरित था।
कार्यक्रम अध्यक्ष विजय मोहन कुमार पुरी ने कहा कि जोरावर सिंह जैसे महान योद्धा विरले ही पैदा होते हैं। चेतराम गर्ग ने कहा कि ऐसे महान व्यक्तित्व के जीवन से हमें प्रेरणा लेनी चाहिए। मंच का संचालन संस्कृत केंद्रीय विद्यालय धर्मशाला के सहायक आचार्य डॉ. विवेक शर्मा ने किया। उन्होंने कहा कि नेरी शोध संस्थान में शोध करने का एक सुरम्य वातावरण है, जकं अनुसंधान की अपार सम्भावनाएं हैं। कार्यक्रम में इतिहास, समाजशास्त्र, संस्कृत, बी वॉक व हिन्दी विभाग के विद्यार्थियों ने भाग लिया।
इस अवसर पर डॉ. भागचंद चौहान, डॉ. भजहरिदास, डॉ. श्रेया बक्शी, डॉ. जयप्रकाश, डॉ. अजय, धर्मशाला क्षेत्र के डॉ. मनोज (रीजनल सेंटर), डॉ. राणा दंत चिकित्सक क्षेत्रीय औषधालय, अनिल डोगरा व अन्य मौजूद रहे।