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प्रसव पीड़ा से कराहती रही गर्भवती, चार घंटे बाद पहुंची एंबुलेंस

कोई अन्य वाहन की सुविधा भी न मिलने से गर्भवती महिला को करीब चार घंटे सड़क किनारे एंबुलेंस का इंतजार करना पड़ा।

By Edited By: Published: Thu, 30 Aug 2018 08:50 PM (IST)Updated: Fri, 31 Aug 2018 08:29 AM (IST)
प्रसव पीड़ा से कराहती रही गर्भवती, चार घंटे बाद पहुंची एंबुलेंस
प्रसव पीड़ा से कराहती रही गर्भवती, चार घंटे बाद पहुंची एंबुलेंस

भराड़ी (चंबा), संवाद सूत्र। भटियात हलके की गढ़ाना पंचायत के बनोई गांव में वीरवार को एक गर्भवती महिला प्रसव पीड़ा से कराहती रही, लेकिन उसे चार घंटे बाद एंबुलेंस सेवा मिल पाई। बनोई निवासी शांता कुमार की पत्नी को बुधवार रात करीब एक बजे प्रसव पीड़ा शुरू हुई। मुख्य सड़क मार्ग से करीब पांच किलोमीटर नीचे स्थित बनोई गांव से परिजन महिला को पालकी में बिठाकर फोगला में मुख्य सड़क तक लाए।

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वहीं, 108 एंबुलेंस को सुबह करीब सवा आठ बजे फोन करके बुलाया। महिला को जब फोगला में मुख्य सड़क तक पहुंचाया गया तो वहां पर एंबुलेंस नहीं पहुंची थी। यहां कोई अन्य वाहन की सुविधा भी न मिलने से गर्भवती महिला को करीब चार घंटे सड़क किनारे एंबुलेंस का इंतजार करना पड़ा।

दोपहर करीब 12 बजे बनीखेत से 108 एंबुलेंस फोगला पहुंची। पूछे जाने पर 108 एंबुलेंस के साथ आए कर्मचारियों ने बताया कि यह क्षेत्र उनके अधिकार क्षेत्र में नहीं है, जिसके कारण देरी हुई। इसके बाद महिला को प्रसव के लिए 108 एंबुलेंस से नागरिक अस्पताल डलहौजी पहुंचाया गया।

परिजनों ने रोष जताया कि बनीखेत की 108 एंबुलेंस सेवा का अधिकार क्षेत्र न होने पर नजदीकी स्वास्थ्य संस्थान से एंबुलेंस भेजी जा सकती थी। लेकिन एंबुलेंस न आने के कारण उन्हें काफी परेशान होना पड़ा। सरकार ने भराड़ी में स्वास्थ्य उपकेंद्र भी खोल रखा है, लेकिन यहां पर लंबे समय से ताला जड़ा हुआ है। क्षेत्रवासियों का कहना है कि गढ़ाना पंचायत के बनोई, रुहणी तथा फोगल सहित आसपास के आठ गांवों के लोग आज भी सड़क व स्वास्थ्य सुविधाओं से वंचित हैं।

उक्त गावों के लिए सड़क मंजूर भी हैं, लेकिन अभी तक सड़क नहीं बन पाई है। बनोई गांव की गर्भवती महिला को 108 एंबुलेंस से नागरिक अस्पताल डलहौजी पहुंचाया गया था। महिला को मेडिकल कॉलेज चंबा रेफर कर दिया गया है। डॉक्टर ओमप्रकाश सोनी ने महिला की जांच की और उसे चंबा रेफर कर दिया गया। डॉ. नवदीप राठौर, प्रभारी नागरिक अस्पताल डलहौजी।

सुबह 9:42 पर एंबुलेंस के लिए सेंटर पर कॉल आई थी। इसके बाद एंबुलेंस के ईएमटी लगातार पीड़ित परिवार से संपर्क कर रहे थे, लेकिन फोन न लगने के कारण उन्हें पहुंचने में देरी हुई। जब उनकी बात हुई तो वे मौके पर तुरंत पहुंच गए थे। अभिषेक, मार्केटिंग एवं मीडिया प्रभारी 108 एंबुलेंस।


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