पुरानी पेंशन योजना के लिए उठी आवाज
पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस) की मांग जोर पकड़ने लगी है।
संवाद सहयोगी, चंबा : पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस) की मांग जोर पकड़ने लगी है। न्यू पेंशन स्कीम (एनपीएस) कर्मचारी महासंघ इस मुद्दे पर फिर आगे आया है। महासंघ ने सरकार से गुहार लगाई है कि पुरानी पेंशन योजना जल्द बहाल की जाए।
एनपीएस कर्मचारी महासंघ के जिला अध्यक्ष सुनील जरयाल ने कहा कि हिमाचल सरकार द्वारा 15 मई 2003 को पूरे देश में सबसे पहले एनपीएस लागू करना निंदनीय फैसला था। केंद्र सरकार ने पूरे देश में केंद्रीय कर्मचारियों के लिए पहली जनवरी 2004 से एनपीएस को लागू किया था। प्रदेश सरकार को चाहिए कि ओपीएस को बहाल करे। सुनील ने बचत भवन चंबा में महासंघ की कार्यकारिणी की बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि प्रदेश सरकार को ओपीएस लागू करने के लिए केंद्र की स्वीकृति की आवश्यकता नहीं है। केंद्र सरकार ने राज्य सरकारों को वर्ष 2004 से ही एनपीएस को लागू करने या न करने के लिए स्वतंत्र रखा था। राज्यों पर कोई बाध्यता नहीं थी कि वे एनपीएस को ही लागू करें।
भाजपा ने अपने दृष्टिपत्र में ओपीएस बहाली के लिए सत्ता में आते ही कमेटी बनाए जाने की बात लिखी है। सरकार अब अपनी ही बात से पीछे हट रही है जिससे कर्मचारियों में रोष है। उन्होंने कहा कि महासंघ की सदस्यता बढ़ाने के लिए लक्ष्य निर्धारित किया गया है। बैठक में ओपीएस बहाली के लिए सरकार के समक्ष मांग प्रभावी रूप से रखने और विधानसभा सत्र शुरू होने से पहले महासंघ के पदाधिकारियों द्वारा चंबा जिला के सभी विधायकों को इस संबंध में सौंपे गए मांगपत्रों पर चर्चा की गई। खंड स्तर पर महिला विग का गठन करने और सभी विभागों के कर्मचारियों को एकजुट करने पर भी विचार-विमर्श किया गया। बैठक में विभिन्न विभागों के जिलाध्यक्षों व कर्मचारियों ने ओपीएस बहाली के लिए एनपीएस महासंघ को समर्थन पत्र भी सौंपे।