एचटेट के प्रश्नों को देख कर चकराए भावी गुरुजी, 4762 ने दी परीक्षा
हरियाणा अध्यापक पात्रता के लिए रविवार सुबह और शाम दो चरणों में लेवल एक और लेवल दो की परीक्षा हुई। सुबह 2606 और शाम को 2156 परीक्षार्थियों ने परीक्षा दी। एचटेट में जो प्रश्न पूछे गए उन्हें देख कर भावी गुरुजी भी चकरा गए।
जागरण संवाददाता, यमुनानगर : हरियाणा अध्यापक पात्रता के लिए रविवार सुबह और शाम दो चरणों में लेवल एक और लेवल दो की परीक्षा हुई। सुबह 2606 और शाम को 2156 परीक्षार्थियों ने परीक्षा दी। एचटेट में जो प्रश्न पूछे गए उन्हें देख कर भावी गुरुजी भी चकरा गए। सवालों का जवाब देने के लिए उन्हें काफी मंथन करना पड़ा। गणित के सवालों ने भी उन्हें खासा परेशान किया। परीक्षार्थियों को परीक्षा से पहले गहन तलाशी से गुजरना पड़ा। दूसरे दिन भी नकल का कोई केस सामने नहीं आया। परीक्षा केंद्रों के बाहर सुरक्षा का कड़ा पहरा रहा। जीएनजी कॉलेज के बाहर परीक्षार्थियों की लंबी लाइन लगी रही।
इन सवालों ने किया परेशान
प्रश्न पत्र में कुल 150 सवाल थे। जिनका जवाब ढाई घंटे में देना था। इसमें बाल विकास एवं शिक्षा शास्त्र, भाषा, सामान्य ज्ञान, गणित और पर्यावरण से संबंधित सवाल पूछे गए थे। जिन सवालों ने परीक्षार्थियों को ज्यादा परेशान किया उनमें कितनी आयु पर बच्चों में लिग पहचान स्थापित होती है। तीन वर्ष की आयु में बालक लगभग कितने शब्द सीख लेता है। स्थानांतरित कृषि को ब्राजील में क्या कहते हैं। कौन सा कोशिकांग स्वयं का डीएनए रखता है, ऐसे सवालों का जवाब देने में भावी गुरु जी को काफी माथापच्ची करनी पड़ी। इसके अलावा ये सवाल भी पूछे गए, हरियाणा के प्रथम गैर कांग्रेसी मुख्यमंत्री कौन थे। इसके ऑप्शन दिए गए, चौधरी देवीलाल, चौधरी बंसीलाल, राव बीरेंद्र सिंह व भगवत दयाल शर्मा। ये सवाल भी पूछा गया कि हरियाणा की 13वीं विधानसभा के अध्यक्ष कौन थे।
परीक्षा के लिए बनाए गए नौ सेंटर
परीक्षा के लिए शहर में चार केंद्र बनाए गए थे। ये केंद्र मुकंद लाल नेशनल कॉलेज, गुरु नानक खालसा कॉलेज, जीएनजी कॉलेज व डीएवी गर्ल्स कॉलेज थे। इनमें नौ सेंटर बनाए गए थे। सुबह हुई लेवल दो की परीक्षा में 2793 परीक्षार्थियों को परीक्षा देनी थी। इनमें से 187 अनुपस्थित रहे। जबकि शाम को लेवल-वन में 2267 को परीक्षा देनी थी। इनमें से 111 अनुपस्थित रहे।
सुरक्षा के पुख्ता बंदोबस्त थे : जोगेंद्र हुड्डा
डीईओ जोगेंद्र सिंह हुड्डा ने बताया कि एचटेट परीक्षा को संपन्न कराने के लिए सुरक्षा के पुख्ता बंदोबस्त किए गए थे। परीक्षा में कोई भी नकल का केस नहीं पकड़ा गया। फ्लाइंग टीमें समय-समय पर परीक्षा केंद्रों का निरीक्षण करती रही।