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सेवानिवृत्त वारंट ऑफिसर के हत्यारों को उम्रकैद

एयरफोर्स से सेवानिवृत्त वारंट ऑफिसर कैंप के खेमचंद छाबड़ा की हत्या के दोषी सहारनपुर के सचिन बिश्नोई और सुनील गांव खरगापुर (मध्यप्रदेश) के नंद किशोर और गांव सारुत (बिहार) के पृथ्वी कुमार को उम्रकैद की सजा सुनाई।

By JagranEdited By: Published: Tue, 03 Sep 2019 08:49 AM (IST)Updated: Tue, 03 Sep 2019 08:49 AM (IST)
सेवानिवृत्त वारंट ऑफिसर के हत्यारों को उम्रकैद

संवाद सहयोगी, जगाधरी :

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एयरफोर्स से सेवानिवृत्त वारंट ऑफिसर कैंप के खेमचंद छाबड़ा की हत्या के दोषी सहारनपुर के सचिन बिश्नोई और सुनील, गांव खरगापुर (मध्यप्रदेश) के नंद किशोर और गांव सारुत (बिहार) के पृथ्वी कुमार को उम्रकैद की सजा सुनाई। साथ ही सवा लाख रुपये जुर्माना भी लगाया है। एडीजे डॉ. अब्दुल माजिद की कोर्ट ने यह फैसला सुनाया। केस में सही तफ्तीश न करने पर जांच अधिकारी के खिलाफ विभागीय कार्रवाई के लिए भी एसपी को लिखा है। कोर्ट ने माना कि जांच अधिकारी ने दोषियों के न तो फिगर और फूट प्रिट लिए और न ही बरामद माल की रिकवरी दिखाई। यह था मामला: छह अगस्त 2018 की रात को खेमचंद छाबड़ा के घर में लूटपाट के बाद उनकी हत्या कर दी थी। शव कमरे में खून से लथपथ पड़ा हुआ था। सामान बिखरा था। घर से 80 हजार रुपये, मोबाइल और अन्य सामान लूटा गया। केस की जांच डिटेक्टिव स्टाफ ने की। स्टाफ ने सचिन, सुशील और अच्जू को गिरफ्तार किया। उनसे पूछताछ के बाद मुख्य आरोपित पृथ्वी को पकड़ा गया। कमरा किराये पर लेकर रची थी साजिश

पुलिस के मुताबिक पृथ्वी ने परिवार की मर्जी के खिलाफ दूसरी शादी की थी। उसे घरवालों ने निकाल दिया था। तब से ही वह खेमचंद के घर के पीछे पास किराये के मकान में रह रहा था। यहां उसके पास अन्य तीनों आरोपित भी आते-जाते थे। इस दौरान उन्हें पता चला कि खेमचंद घर में अकेले रहते हैं, तो उन्होंने लूट की योजना बनाई। वारदात को अंजाम देने से पहले पूरी तरह से रैकी की। छह अगस्त की रात को वह अपने साथियों के साथ खेमचंद के घर में घुसा। जब वे लूट की योजना को अंजाम दे रहे थे, तो खेमचंद नींद से जाग गया। इसके बाद उन्होंने कपड़े से उसका गला घोंट दिया और मुंह पर कई वार कर उसकी हत्या कर दी। इन धाराओं में हुई सजा

कोर्ट ने कहा कि यह हीनियस क्राइम है। यदि अपराधियों को सजा नहीं देंगे, तो समाज में गलत मैसेज जाएगा। सुनील, सचिन व नंदकिशोर को धारा 302, 460 व 120 बी में आजीवन कारावास व 30-30 हजार रुपये जुर्माने की सजा। इसके अलावा सचिन को आ‌र्म्स एक्ट में तीन साल कठोर कारावास व पांच हजार रुपये जुर्माना किया है। पृथ्वी को 302, 406 में आजीवन कारावास और 30 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है।


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