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ग्रुप डी परीक्षा : आवेदक रहे परेशान, शहर में रहा जाम, ऑटो चालकों ने जमकर की कमाई

एचएसएससी की तरफ से आयोजित ग्रुप डी की परीक्षा रविवार को सुबह व शाम दो चरणों में हुई। 44 हजार परीक्षार्थियों को पेपर देने के लिए आना था। लेकिन सभी पेपर देने नहीं आए। इसका कारण परीक्षा केंद्रों का घर से ज्यादा दूर होना माना जा रहा है। परीक्षा के लिए 68 केंद्र बनाए गए थे। इनमें से रादौर में दो, बिलासपुर में 10, जगाधरी में 29 व यमुनानगर में 27 केंद्र बनाए गए। बिलासपुर में 4848 व यमुनानगर, जगाधरी रादौर में एक चरण में 17136 आवेदकों को परीक्षा देनी थी। परीक्षा के कारण पूरा दिन शहर में जाम लगा रहा। परीक्षा केंद्रों के अंदर जैमर लगे होने के कारण आसपास का मोबाइल नेटवर्क भी बाधित रहा जिसके कारण लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ा।

By JagranEdited By: Published: Sun, 18 Nov 2018 11:28 PM (IST)Updated: Sun, 18 Nov 2018 11:28 PM (IST)
ग्रुप डी परीक्षा : आवेदक रहे परेशान, शहर में रहा जाम, ऑटो चालकों ने जमकर की कमाई
ग्रुप डी परीक्षा : आवेदक रहे परेशान, शहर में रहा जाम, ऑटो चालकों ने जमकर की कमाई

जागरण संवाददाता, यमुनानगर : एचएसएससी की तरफ से आयोजित ग्रुप डी की परीक्षा रविवार को सुबह व शाम दो चरणों में हुई। 44 हजार परीक्षार्थियों को पेपर देने के लिए आना था। लेकिन सभी पेपर देने नहीं आए। इसका कारण परीक्षा केंद्रों का घर से ज्यादा दूर होना माना जा रहा है। परीक्षा के लिए 68 केंद्र बनाए गए थे। इनमें से रादौर में दो, बिलासपुर में 10, जगाधरी में 29 व यमुनानगर में 27 केंद्र बनाए गए। बिलासपुर में 4848 व यमुनानगर, जगाधरी रादौर में एक चरण में 17136 आवेदकों को परीक्षा देनी थी। परीक्षा के कारण पूरा दिन शहर में जाम लगा रहा। परीक्षा केंद्रों के अंदर जैमर लगे होने के कारण आसपास का मोबाइल नेटवर्क भी बाधित रहा जिसके कारण लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ा।

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दिल्ली के लिए चलाई 100 से अधिक बसें

महेंद्रगढ़, रोहतक, झज्जर, हिसार, पलवल, पानीपत, कैथल तक के आवेदक यमुनानगर में ग्रुप डी की परीक्षा देने के लिए आए थे। इसलिए रोडवेज ने दिल्ली रूट के लिए सुबह से शाम तक 100 से अधिक बसें चलाई। सबसे ज्यादा भीड़ ही दिल्ली व गुरुग्राम जाने वाली बसों में थी। आवेदकों को घर जाने के लिए किसी तरह की दिक्कत न हो इसके लिए रोडवेज ने कर्मचारियों की ड्यूटी बस स्टैंड पर लगाई थी। ये कर्मचारी आवाज लगाकर यात्रियों को बसों में बिठा रहे थे। सफर लंबा होने के कारण यात्री सीट पर बैठना चाहते थे। इसलिए काफी यात्री शीशे खोलकर अंदर घुस गए।

पूरा दिन शहर की सड़कों पर लगा रहा जाम

ग्रुप डी की परीक्षा देने के लिए 44 हजार आवेदकों को आना था। जो आवेदक महेंद्रगढ़, झज्जर समेत अन्य जिलों से आए थे वे अपने साथ सहयोगियों को भी लेकर आए थे। परीक्षा देने के बाद जब ये लोग बस स्टैंड पर आए तो वहां पांव रखने तक की जगह नहीं थी। दोपहर 12 जैसे ही परीक्षा खत्म हुई तो बसें अपने गंतव्य के लिए रवाना होने लगी। एक साथ दर्जनों बसें चलने से बस स्टैंड गेट के बाहर, वर्कशाप रोड, कमानी चौक पर जाम लग गया। दो घंटे तक बसें जाम में फंसी रही। जब जाम नहीं खुला तो बस स्टैंड गेट के नजदीक दो ट्रैफिक पुलिसकर्मियों को लगाना पड़ा। यातायात को कंट्रोल करने के लिए पुलिस को महाराणा प्रताप चौक पर लगी ट्रैफिक लाइट को बंद करना पड़ा। बाद में यहां दो ट्रैफिक पुलिसकर्मी व दो होमगार्ड लगाने पड़े।

खुली रही फोटो स्टेट की दुकानें

परीक्षा केंद्रों के आसपास डीसी ने धारा 144 लगाई थी। साथ ही परीक्षा केंद्रों के नजदीक खुली सभी फोटो स्टेट की दुकानों को बंद करने के आदेश दिए गए थे। इसके बावजूद ज्यादातर फोटो स्टेट की दुकानें खुली रही। कुछ दुकानदारों ने दिखावे के लिए मशीनों पर कपड़ा डाला हुआ था लेकिन जैसे ही कोई ग्राहक आता वे उसके दस्तावेजों की फोटो स्टेट करवाने लगते। कुछ केंद्रों के तो बिल्कुल सामने दुकानें खुली थी। इसलिए धारा 144 का कोई असर देखने को नहीं मिला।

ऑटो चालकों ने एक किलोमीटर के लिए 20 रुपये

ग्रुप डी की परीक्षा देने आए आवेदकों की मजबूरी का आटो चालकों ने भी खूब फायदा उठाया। बस स्टैंड से जीएनजी कॉलेज की दूरी महज एक किलोमीटर दूर है। आटो रिक्शा में यहां तक के 10 रुपये लगते हैं। परंतु आटो चालकों ने 20 रुपये प्रति सवारी लिए। जगाधरी बस स्टैंड पर छोड़ने के भी 20 से 30 रुपये तक लिए गए। अधिक से अधिक सवारी बिठाने के लिए चालकों ने अपने आटो बस स्टैंड के गेट पर खड़े करके रखे। ये आटो जाम का भी कारण बने रहे।

आवेदकों के ठहरने व खाने की मुफ्त व्यवस्था

बिलासपुर में परीक्षार्थियों की मदद के लिए खेड़ा मंदिर कमेटी व कस्बा के युवा वर्ग ने निष्काम भाव से सहायता की। परीक्षार्थियों के ठहरने, खाने की व्यवस्था से लेकर केंद्र तक छोड़ने का काम युवाओं ने निश्शुल्क किया। सुबह के चरण में परीक्षा देने के लिए आए परीक्षार्थियों ने शनिवार देर शाम को कस्बा में पहुंचना शुरू कर दिया था। परीक्षार्थियों के ठहरने व खाने की व्यव्स्था के लिए कस्बा के खेड़ा मंदिर, अजात आश्रम में की गई। युवा तरूण बक्शी, मुकेश चौहान, पंकुश खुराना ने बताया कि शाम से कस्बा के युवाओं ने बाहर से आए परीक्षार्थियों के लिए एक पिकअप की व्यवस्था की जो कि पेपर देने आए आवेदकों को खेड़ा मंदिर हाल तक पहुंचाने व इसके पश्चात परीक्षा केंद्र तक पहुंचाने का काम किया। रात को खाने की व्यवस्था, सोने के लिए रजाई गद्दे तक उन्हें दिए गए। सुबह चाय नाश्ते का भी प्रबंध किया गया। पंकुश खुराना ने इस सराहनीय कार्य के लिए खेड़ा मंदिर कमेटी व कस्बा क युवा वर्ग को धन्यवाद किया। मौके पर राकेश बेदी, प्रदीप नेहरा, रितेश पंवार, अनिल कक्कड़, मुकेश चौहान, नागेश, मेजर ¨सह, शिव कुमार धमीजा, सुतीक्षण, रितेश पंवार, चंद्र प्रकाश, अशोक झाम, नागेश कुमार सहित अनेक लोग मौजूद रहे।


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