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गोहाना में भू संपत्तियों का हुआ डिजिटल सर्वे, अब बांटी जाएंगी आइडी

गोहाना में भू संपत्तियों (प्रापर्टी) का डिजिटल सर्वे पूरे हो गया है। डिजिटल सर्वे में जिन लोगों के नाम जमीन मिली उनकी प्रापर्टी आइडी बनाई गई हैं।

By JagranEdited By: Published: Thu, 27 Jan 2022 07:31 PM (IST)Updated: Thu, 27 Jan 2022 07:31 PM (IST)
गोहाना में भू संपत्तियों का हुआ डिजिटल सर्वे, अब बांटी जाएंगी आइडी
गोहाना में भू संपत्तियों का हुआ डिजिटल सर्वे, अब बांटी जाएंगी आइडी

जागरण संवाददाता, गोहाना: गोहाना में भू संपत्तियों (प्रापर्टी) का डिजिटल सर्वे पूरे हो गया है। डिजिटल सर्वे में जिन लोगों के नाम जमीन मिली उनकी प्रापर्टी आइडी बनाई गई हैं। अब एजेंसी द्वारा शहर के लोगों में प्रापर्टी आइडी बांटी जाएंगी और रि-असेस्मेंट के नोटिस जारी किए किए जाएंगे। अगर किसी व्यक्ति को किसी भी तरह की आपत्ति है तो उसे नोटिस के 30 दिन के भीतर नगर परिषद की प्रापर्टी शाखा में आकर जरूरी दस्तावेज देने होंगे।

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शहरी स्थानीय निकाय विभाग ने एजेंसी अधिकृत करके गोहाना नगर परिषद के दायरे में आने वाली भू संपत्तियों का सर्वे करवाया। सर्वे डिजिटल आधार पर करवाया गया है ताकि भू संपत्तियों के मामले में पारदर्शिता आ सके। एजेंसी के कर्मचारियों ने घर-घर जाकर लोगों से जानकारी जुटाई थी। गोहाना में डिजिटल सर्वे में करीब 34,500 लोगों के नाम भू संपत्तियां मिली। इनमें व्यवसायिक और रिहायशी भवनों के साथ प्लाट हैं। सर्वे होने के बाद एजेंसी द्वारा लोगों की प्रापर्टी आइडी बनाई गई हैं। एजेंसी द्वारा अब भू संपत्ति मालिकों में प्रापर्टी आइडी बांटी जाएंगी। इसके साथ रि-अस्समेंट के नोटिस जारी किए जाएंगे। अगर किसी व्यक्ति को किसी तरह की आपत्ति है तो उसे नोटिस मिलने के बाद 30 दिन के भीतर नगर परिषद की प्रापर्टी शाखा में आना होगा और प्रापर्टी का रिकार्ड, पुरानी अस्समेंट, आधार कार्ड और फैमिली आइडी की प्रतियां देनी होंगी।

सात साल में 7,000 लोग बने प्रापर्टी के मालिक

नगर परिषद द्वारा करीब सात साल पहले गोहाना में प्रापर्टी को लेकर सर्वे करवाया था। तब गोहाना में करीब 26,500 लोगों के नाम प्रापर्टी मिली थी। डिजिटल सर्वे में गोहाना में करीब 34,500 लोगों के नाम प्रापर्टी मिली है। सात साल में करीब 7,000 लोग प्रापर्टी के मालिक बन गए। डिजिटल सर्वे से भू संपत्ति की खरीद-फरोख्त में पारदर्शिता आएगी। हाउस टैक्स से नगर परिषद की आय भी बढ़ेगी। उधर प्रत्येक व्यक्ति की प्रापर्टी आइडी होगी। इससे जमीन संबंधी विवाद कम होंगे।

एजेंसी को प्रापर्टी आइडी बांटने के निर्देश दे दिए हैं। रि-अस्समेंट के नोटिस भी दिए जाएंगे। अगर किसी व्यक्ति को लगता है कि उसकी प्रापर्टी का सर्वे ठीक नहीं है तो उसे नोटिस मिलने के बाद निर्धारित समयावधि में कार्यालय आना होगा और जरूरी दस्तावेज साथ लेकर आने होंगे। दस्तावेजों के आधार पर ही त्रुटियों को ठीक किया जाएगा।

-राजेश वर्मा, ईओ, नगर परिषद गोहाना


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