आरक्षण आंदोलन के फोटो और वीडियो लेकर पहुंची एसआइटी, तीन घंटे तक लिए बयान
फरवरी 2016 में हुए आरक्षण आंदोलन के दौरान शेवरले कार के
जागरण संवाददाता, रोहतक : फरवरी 2016 में हुए आरक्षण आंदोलन के दौरान शेवरले कार के शोरूम में हुई आगजनी के मामले में रविवार को एसआइटी अर्बन एस्टेट थाने में पहुंची। वहां पर एसआइटी को 11 लोगों के बयान लेने थे, लेकिन पांच लोग की अपने बयान दर्ज करा सके। एसआइटी करीब तीन घंटे तक थाने में रही, जिसके बाद वह वापस लौट गई।
दरअसल, आंदोलन के दौरान बोहर गांव के नजदीक स्थित शेवरले कार के शोरूम में आगजनी कर दी गई थी। इस मामले में बोहर गांव के करीब 11 लोगों के फोटो और वीडियो एसआइटी ने जुटाए थे। इन लोगों के बयान लेने के लिए दोपहर करीब 12 बजे एसआइटी टीम के सदस्य अर्बन एस्टेट थाने में पहुंचे। पता चलने पर बड़ी संख्या में ग्रामीण भी वहां पर पहुंच गए थे। मौके पर पांच लोगों के बयान हो सके। कोई परीक्षा में गया हुआ था तो कोई किसी अन्य काम से। एसआइटी ने पांचों लोगों को अपने पास एकत्रित किए गए फोटो और वीडियो दिखाए। कई लोगों ने स्वीकार किया कि वह फोटो और वीडियो में दिखाई दे रहे हैं, लेकिन वहां आगजनी व तोड़फोड़ करने नहीं गए थे, बल्कि ग्रामीणों ने उनकी जिम्मेदारी लगाई थी। टीम ने करीब तीन घंटे तक बयान लिए। जिसके बाद वह हिसार के लिए वापस लौट गए। हालांकि जिन लोगों के बयान नहीं हो सके, उनके बयान लेने के लिए दोबारा से एसआइटी की टीम रोहतक आएगी। गांव के किसी व्यक्ति ने नहीं पहुंचाया नुकसान : बल्लू प्रधान
बोहर गांव के रहने वाले कोपरेटिव बैंक के अध्यक्ष अनिल कुमार उर्फ बल्लू प्रधान का कहना है कि गांव के किसी भी व्यक्ति ने शोरूम को नुकसान नहीं पहुंचाया है। एसआइटी के पास कुछ लोगों के फोटो और वीडियो है, लेकिन वह लोग बाहरी लोगों को रोकने के लिए वहां पर गए थे। एसआइटी ने ग्रामीणों से भी बातचीत की, जिस पर ग्रामीणों ने भी दो टूक कहा कि गांव के किसी व्यक्ति ने नुकसान नहीं किया है। इस मौके पर कृष्ण ठेकेदार, अशोक ठेकेदार, रमेश, राजल, समरजीत, दिलबाग, धर्मबीर, अठगामा प्रधान बलराज और सुरेश आदि मौजूद रहे।