किसान आंदोलन सच्चाई के मूल्यों को असली स्वरूप में सामने ला रहा है : सहगल
पूर्व सांसद व फिल्मकार सुभाषिनी अली सहगल ने कहा कि देश का किसान आंदोलन हिम्मत व सचाई के मूल्यों को असली स्वरूप में सामने ला रहा है।
जागरण संवाददाता, रोहतक :
पूर्व सांसद व फिल्मकार सुभाषिनी अली सहगल ने कहा कि देश का किसान आंदोलन हिम्मत व सच्चाई के मूल्यों को असली स्वरूप में सामने ला रहा है। दूसरी तरफ वर्तमान शासक वर्ग की खास इन्हीं मूल्यों से दुश्मनाई भी होती जा रही है। वे शनिवार को किशनपुरा की चौपाल में आयोजित आजाद हिद फौज की नेता कैप्टन लक्ष्मी सहगल की स्मृति दिवस कार्यक्रम में संबोधित कर रही थीं। सुभाषिनी अली कैप्टन लक्ष्मी सहगल की बेटी हैं। किसान मजदूर संघ और सहयोग मंच द्वारा कार्यक्रम का आयोजन किया गया था।
सुभाषिनी अली सहगल ने कहा कि जब किसानों सच कहने की कोशिश करते हैं की सरकार ने किसान व कारपोरेट में से कारपोरेट का पाला चुन लिया है और सरकार उनके हित साधने के लिए किसानों को काले कानूनों के माध्यम से दिहाडीदार मजदूर बनाने पर आमादा है और मजदूरों को दास प्रथा में धकेलने के लिए श्रम कानूनों में मालिक पर बदलाव कर रही है तो सरकार उन्हें आतंकवादी, देशद्रोही और मवाली बताकर देश के अन्नदाता का अपमान कर रही है।
पूर्व पार्षद जगबीर राठी ने किशनपुरा चैपाल में पहुंचने पर सुभाषिनी अली का स्वागत किया। सेक्टर 4 (एक्सटेंशन) की आरडब्ल्यूए के अध्यक्ष सुखबीर माथुर ने पगड़ी पहनाकर उनका सम्मान किया। डा. जगमति सांगवान ने कार्यक्रम का संचालन किया। डा. रणबीर दहिया ने मेहमानों का धन्यवाद किया।
सभा की अध्यक्षता प्रो. श्याम सुंदर पसरीजा, डा. संतोष मुदगिल, उषा सरोहा, प्रोफेसर नकवी ने संयुक्त रुप से की। लोक गायक गुलाब सिंह खंडेलवाल ने कैप्टन लक्ष्मी सहगल की स्मृति में डा. रणबीर दहिया द्वारा लिखी रागनी सुना कर तालियां बटोरी। गांधी स्कूल के बच्चों ने तू कर संग्राम ऐ साथी गीत गाया। सांपला से पहुंची ललिता ने ओजस्वी कविता पाठ किया। कार्यक्रम में शहर के गणमान्य नागरिकों के अलावा मदीना टोल की आंदोलनकारी टीम ने बलवान के नेतृत्व में इस भागीदारी में हिस्सा लिया।