जिला बार एसोसिएशन के चुनाव पर रोक से दावेदारों को झटका
जिला बार एसोसिएशन के चुनावी दंगल में उतरने वाले दावेदारों को बुधवार को दोहरा झटका लगा। ऑनलाइन चुनाव को लेकर पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने फिलहाल रोक लगा दी है।
जागरण संवाददाता, रोहतक : जिला बार एसोसिएशन के चुनावी दंगल में उतरने वाले दावेदारों को बुधवार को दोहरा झटका लगा। ऑनलाइन चुनाव को लेकर पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने फिलहाल रोक लगा दी है। साथ ही जिला बार एसोसिएशन के हाउस की तरफ से चुनाव नहीं कराने का प्रस्ताव भी बार काउंसिल को भेजा गया था। वहीं, दो अधिवक्ताओं की मांग पर बार काउंसिल ने पर्यवेक्षक नियुक्त करते हुए फिलहाल चुनाव प्रक्रिया पर रोक लगा दी है। 20 सितंबर तक पर्यवेक्षक अपनी रिपोर्ट देंगे। इसके बाद आगामी आदेश मिलने पर प्रक्रिया कराई जा सकती है। उधर, नामांकन का अंतिम दिन होने के कारण कई दावेदारों ने अपना नामांकन पत्र भी दाखिल कर दिया था।
9 सितंबर को बार काउंसिल की तरफ से जिला बार एसोसिएशन का चुनाव शेड्यूल जारी किया गया था। शेड्यूल के अनुसार 1 अक्टूबर को ऑनलाइन चुनाव होना था। इसके लिए 16 सितंबर को नामांकन पत्र दाखिल किए जाने थे। इसके लिए अरविद श्योराण को चुनाव अधिकारी नियुक्त किया गया था। सोमवार को जिला बार एसोसिएशन की हाउस की बैठक बुलाई गई थी। इसमें अधिवक्ताओं ने तर्क रखा था कि ऑनलाइन चुनाव में काफी कमियां है। इसलिए ऑनलाइन चुनाव नहीं होना चाहिए। इसके बाद यह फैसला लिया गया था कि अगले कार्यकाल तक वर्तमान पदाधिकारी ही कार्यरत रहेंगे। इसके लिए प्रस्ताव पास कर बार काउंसिल को भी भेज दिया गया था।
बार के दो अधिवक्ता गोविद बाल्यान और मनीष सैनी ने बार काउंसिल चेयरमैन को पत्र भेजकर पर्यवेक्षक नियुक्त करने की मांग की थी। बार काउंसिल चेयरमैन ने पर्यवेक्षक नियुक्त करते हुए चुनाव प्रक्रिया पर तक रोक लगा दी है। पर्यवेक्षक अपनी रिपोर्ट 20 सितंबर तक बार काउंसिल में जमा कराएंगे, जिसके बाद आगामी आदेश होने तक चुनाव की कोई प्रक्रिया नहीं होगी। इसके अलावा पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने भी बार काउंसिल की ओर से जारी किए गए चुनाव के नोटिफिकेशन पर फिलहाल रोक लगा दी है। नामांकन करने पहुंचे दावेदार
नामांकन के लिए बुधवार का दिन तय किया गया था। ऐसे में प्रधान पद के दावेदार उमेश भारद्वाज, विक्रम खट्टर, उप प्रधान के लिए मनीष सैनी और महासचिव पद के लिए गोविद बाल्यान नामांकन पत्र दाखिल करने पहुंचे। वर्जन
दो अधिवक्ताओं की तरफ से पर्यवेक्षक नियुक्त करने की मांग की थी, जिसके बाद बार काउंसिल ने पर्यवेक्षक नियुक्त कर दिया है। ागामी आदेशों तक चुनाव की कोई प्रक्रिया नहीं होगी। इसके लिए दावेदारों की बैठक बुलाकर उन्हें अवगत करा दिया गया है।
- अरविद श्योराण, चुनाव अधिकारी