दिल्ली-जयपुर हाईवे खुलने से लाखों लोगों को राहत
दिल्ली-जयपुर हाईवे के मध्य हरियाणा व राजस्थान की सीमा (जयसिंहपुर खेड़ा-शाहजहांपुर बार्डर) पर पिछले एक वर्ष से चल रहा किसानों का धरना-प्रदर्शन समाप्त होने से लाखों लोगों को बड़ी राहत मिली है।
जागरण संवाददाता, रेवाड़ी: दिल्ली-जयपुर हाईवे के मध्य हरियाणा व राजस्थान की सीमा (जयसिंहपुर खेड़ा-शाहजहांपुर बार्डर) पर पिछले एक वर्ष से चल रहा किसानों का धरना-प्रदर्शन समाप्त होने से लाखों लोगों को बड़ी राहत मिली है। बावल व मानेसर आइएमटी सहित दिल्ली एनसीआर में स्थित हजारों उद्योगों को अपनी सप्लाई चेन टूटने की चिता से मुक्ति मिल गई है। प्रदर्शनकारियों के हटने से छोटे-बड़े हजारों ट्रांसपोर्टरों और निजी वाहन चालकों का समय व धन बचेगा, क्योंकि अब उन्हें लंबी दूरी तक घूमकर या जाम में फंसकर आना-जाना नहीं पड़ेगा। उन्हें डीजल व पेट्रोल की भारी बचत होगी। दिल्ली-जयपुर हाईवे पर सर्विस लेन तो शुक्रवार को ही खोल दी गई थी वहीं हाईवे की मुख्य सड़क पर भी शनिवार से ट्रैफिक दौड़ने लगा।
बावल, मानेसर, नीमराना, भिवाडी व गुरुग्राम सहित पूरे एनसीआर की देश-विदेश में एक बड़े आटो मोबाइल हब के रूप में पहचान है। यहां के उद्योगों में जयपुर की ओर से कच्चे व तैयार माल की आवाजाही आम है। राजस्थान, गुजरात व महाराष्ट्र सहित
विभिन्न राज्यों से दिल्ली, गुरुग्राम, सोनीपत व पानीपत की ओर आने वाले वाहनों के लिए जयसिंहपुर खेड़ा-शाहजहांपुर बार्डर के रास्ते आना-जाना सबसे सुगम है। धरना-प्रदर्शन के कारण कुछ वाहन चालकों को जहां गंतव्य तक पहुंचने के लिए 50 से 100 किमी अधिक दूरी तय करनी पड़ रही थी। कुछ को जाम में फंसकर दस से बीस किमी अधिक दूरी तक करनी पड़ रही थी। हाईवे खुलने से उन लाखों उद्यमियों, व्यापारियों, औद्योगिक इकाईयों में काम करने वाले कर्मचारियों को राहत मिली है, जिनकी जिदगी ठहर सी गई थी। दोनों राज्यों के बार्डर के निकट स्थित दुकानों पर व्यापार चौपट हो चुका था। पेट्रोल पंप लगभग बंद होने की कगार पर पहुंच गए थे।