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एन्हांसमेट सेटलमेट स्कीम सेक्टरवासियों को मंजूर नहीं

सेक्टर तीन 18 व 19 रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन की ओर से राधा कृष्ण मंदिर में एक संयुक्त बैठक आयोजित की गई। बैठक में उपस्थित वक्ताओं ने कहा कि सेटलमेंट स्कीम के नाम पर हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण के अधिकारियों ने वर्ष 2017 से लगाए गए ब्याज को मामूली करके दिखावा किया है। यह स्कीम सेक्टरवासियों को मंजूर नहीं है और इस पर स्टे लगवाने के लिए न्यायालय की शरण ली जाएगी।

By JagranEdited By: Published: Mon, 15 Mar 2021 07:04 PM (IST)Updated: Mon, 15 Mar 2021 07:04 PM (IST)
एन्हांसमेट सेटलमेट स्कीम सेक्टरवासियों को मंजूर नहीं
एन्हांसमेट सेटलमेट स्कीम सेक्टरवासियों को मंजूर नहीं

जागरण संवाददाता, रेवाड़ी: हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण (एचएसवीपी) की ओर से शुरू की गई फुल एंड फाइनल एन्हांसमेंट सेटलमेंट स्कीम को सेक्टरवासियों ने सिरे से खारिज कर दिया है। सेक्टर तीन, 18 व 19 रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन की ओर से राधा कृष्ण मंदिर में एक संयुक्त बैठक आयोजित की गई। बैठक में उपस्थित वक्ताओं ने कहा कि सेटलमेंट स्कीम के नाम पर हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण के अधिकारियों ने वर्ष 2017 से लगाए गए ब्याज को मामूली करके दिखावा किया है। यह स्कीम सेक्टरवासियों को मंजूर नहीं है और इस पर स्टे लगवाने के लिए न्यायालय की शरण ली जाएगी। वहीं इस स्कीम के तहत कोई भी सेक्टरवासी एन्हांसमेंट की राशि जमा नहीं कराएगा।

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बैठक की अध्यक्षता करते हुए सेक्टर-3 आरडब्ल्यूए के प्रधान प्रताप सिंह यादव ने कहा कि पंद्रह साल बाद एन्हांसमेंट राशि वर्ष 2017 में मांगी गई थी। इसमें देरी के लिए अधिकारी तथा सरकार जिम्मेदार हैं, लेकिन सेक्टरवासियों से नुकसान की भरपाई की जा रही है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2017 से अब तक का ब्याज भी लगाकर उसमें मामूली छूट देकर कहा जा रहा है कि ब्याज माफ कर दिया। उन्होंने कहा कि अदालत ने इस पालिसी को रद करके इस अवधि का ब्याज सेक्टरवासियों पर नहीं डालने के आदेश दिए थे, लेकिन प्राधिकरण उसी पालिसी के आधार पर इन्हांसमेंट लगा रहा है। वहीं इसके संबंध में अभी तक कोई नोटिस भी जारी नहीं किए गए हैं। केवल फोन के माध्यम से ही फाइनल सेटलमेंट की बात की जा रही है। जबकि राशि में भी कोई कमी नहीं की गई है। पूर्व जिला न्यायवादी बुद्धदेव यादव ने कहा कि यह स्कीम सीधे तौर पर अदालत के आदेशों की अवमानना है, इसलिए इस स्कीम के खिलाफ अदालत में जाना ही एकमात्र उपाय है। इसलिए न्यायालय में अवमानना याचिका दायर करके इस स्कीम को स्टे किए जाने की मांग की जाएगी। संयुक्त सचिव महेश यादव ने कहा कि प्राधिकरण की कार्यशैली से सभी सेक्टरवासी वाकिफ हैं और ऐसे में इस स्कीम पर किसी भी सूरत में भरोसा नहीं किया जा सकता है। हमारी मांग ब्याज को पूरी तरह से समाप्त करने की है। इसको लेकर अदालत की शरण लेने के साथ ही मुख्यमंत्री व जनप्रतिनिधियों को अवगत कराया जाएगा। बैठक में राजकुमार यादव, हरीश लोहिया, राजकुमार यादव, महेश यादव, सतबीर पोषवाल, राम सिंह यादव, मोहनलाल तनेजा, मास्टर दलीप सिंह, प्रो. सतीश यादव, ओम प्रकाश बागड़ी, एडवोकेट अनिल राव, डीपी गर्ग, ब्रह्मप्रकाश यादव, चंद्रहास, जसवंत सिंह यादव आदि मौजूद रहे।


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