जड़ी-बूटियों से होगा पशुओं की बीमारियों का इलाज
पशुओं में थनेला जेरका न गिरना बुखार दस्त घाव और पेट के कीड़े मारने और परजीवी जैसी बीमारियों का इलाज आयुर्वेद से किया जाएगा। जामुन और अमरूद से दस्त का सफेदे से सांस का रोग पीपल से घाव नीम से थन की रुकावट पेट के कीड़े और बुखार ठीक किए जाएंगे।
संवाद सहयोगी, मतलौडा : पशुपालन एवं डेयरी विभाग के चिकित्सक अब पेड़-पौधों से पशुओं की 10 बीमारियों का इलाज करेंगे। इसके लिए डॉ. माणिक पंवार को मास्टर ट्रेनर के रूप में जिलेभर के पशु चिकित्सकों को ट्रेनिग देने के लिए नियुक्त किया गया है।
डॉ. पंवार ने बताया कि पशुओं में थनेला, जेरका न गिरना, बुखार, दस्त, घाव और पेट के कीड़े मारने और परजीवी जैसी बीमारियों का इलाज आयुर्वेद से किया जाएगा। जामुन और अमरूद से दस्त का, सफेदे से सांस का रोग, पीपल से घाव, नीम से थन की रुकावट, पेट के कीड़े और बुखार ठीक किए जाएंगे। तीन दिवसीय प्रशिक्षण कैंप में पशु चिकित्सकों और वीएलडीए को प्रशिक्षित किया जा चुका है। उन्होंने बताया कि इस कार्यक्रम के चेयरमैन विभाग के डीडीए संजय आंतिल और एसडीओ डॉ. राकेश भुक्कल ने ट्रेनिग के बाद चिकित्सकों को औषधीय पौधों की पहचान भी कराई।