दिल्ली के गैंगस्टरों की पनाहगाह ये शहर, खुफिया तंत्र भी यहां नाकाम
दिल्ली के अपराधियों की बढ़ती सक्रियता जिला वासियों के लिए खतरे की घंटी है। इनकी भनक न लगना पुलिस के लिए चुनौती है। दिल्ली का दो लाख का इनामी बदमाश ठेकेदार ने समालखा में पनाह ली थी।
पानीपत, [विजय गाहल्याण]। दिल्ली और उत्तर प्रदेश के कुख्यात अपराधियों की औद्योगिक नगरी पानीपत की बाहरी कॉलोनियां और टोका मंडी से मशहूर समालखा पनाहगाह बन गया है। अपराधियों की बढ़ती सक्रियता जिलावासियों के लिए भी खतरे की घंटी है। ये पुलिस के लिए भी चुनौती बने हुए हैं।
दिल्ली के टॉप टेन बदमाशों की सूची में शुमार दो लाख के इनामी बदमाश प्रहलादपुर के महेश उर्फ ठेकेदार ने भी समालखा में ठिकाना बना लिया था। यहीं से वह गुर्गों को निर्देश भी दे रहा था। इसकी स्थानीय पुलिस व खुफिया विभाग को भनक तक नहीं थी। पानीपत में पहले भी उत्तर प्रदेश के गैंगस्टर मुकीम उर्फ काला के गैंग का शार्प शूटर महताब उर्फ काना, शहजाद और जहूर गीता कॉलोनी में रहे थे।
आठ बदमाशों की गिरफ्तारी से टूटी चुकी थी ठेकेदार गैंग की कमर
दिल्ली के बुद्धविहार के पूर्व पार्षद शंभु शर्मा के इकलौते बेटे कार्तिक शर्मा के अपहरण व फिरौती वसूलने के मामले में पुलिस ने गैंगस्टर महेश उर्फ ठेकेदार के बदमाश दिल्ली के चांदपुर के मंजीत डबास, स्वरूपनगर के भगत उर्फ भानू, दीनपुर के विनोद, छावला के विक्रांत शौकीन, पालमपुर के आनंद, आशू शौकीन और उत्तर प्रदेश के जिला बुलंदशहर के अनूप शहर के विचित्रवीर को दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार किया। इसके बाद से ठेकेदार गैंग की कमर टूट गई थी। ठेकेदार को हरियाणा के पानीपत व अन्य जिलों में रहकर गैंग को जिंदा रखने के लिए जद्दोजहद में था, लेकिन इससे पहले ही उसकी मौत हो गई।
गोगी ने की थी गायिका की हत्या
दिल्ली के चार लाख रुपये के इनामी बदमाश जितेंद्र उर्फ गोगी ने भी पानीपत में शरण ली थी। दो साल पहले पानीपत पुलिस ने गोगी का गिरफ्तार किया था। इसके बाद गोगी दिल्ली पुलिस की हिरासत से छूटकर फरार हो गया था। गोगी ने 17 अक्टूबर, 2017 को हरियाणवी गायिका हर्षिता दहिया की चमराड़ा गांव के पास गोली मारकर हत्या कर दी थी। गोगी ने इस हत्याकांड के दिल्ली के कराला गांव के बदमाश के इशारे पर अंजाम दिया था। पानीपत व दिल्ली पुलिस गोगी को पकड़ नहीं पाई है। इसी तरह से 30 दिसंबर 2017 को करनाल के राहड़ा गांव के जयदेव की सुरेंद्र ग्योंग के गिरोह को चला रहे उसके छोटे भाई जोगेंद्र ने हत्या कर दी थी। आरोपित गिरफ्त से दूर है।
15 साल पहले दिल्ली का बदमाश सुंदरा मारा गया था
वर्ष 2004 में दिल्ली के कुख्यात अपराधी सुंदर ने नांगल खेड़ी गांव में पनाह ले रखी थी। सुंदर को दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने पानीपत में गिरफ्तार कर लिया था। सुंदर पुलिस की गिरफ्त से छूटकर भाग निकला था। शुगर मिल के पास गोलीबारी में सुंदर माया गया था। इसी दौरान क्राइम ब्रांच के सब इंस्पेक्टर मेहताब सिंह शहीद हो गये थे। इस हत्याकांड में सुंदर को पनाह देने वाले दो लोगों को उम्रकैद हुई थी।
गुर्गों पर नहीं करता था यकीन, उसी की सूचना पर फंसा
दिल्ली पुलिस के अनुसार महेश ठेकेदार पर अपहरण व फिरौती के अलावा मारपीट के कई मामले दर्ज हैं। ठेकदार गुर्गों पर विश्वास नहीं करता था और न ही मोबाइल फोन का इस्तेमाल करता था। इसी वजह से वह लंबे से समय से फरारी काटने में सफल रहा। पुलिस ने गुर्गे दीपक को पकड़कर मोहरा बनाया और उसी के जरिये पुलिस ठेकेदार तक पहुंच भी गई थी। पुलिस के हाथ आने से पहले ही ठेकेदार की मौत हो गई।
महेश का फाइल फोटो।
महेश ने फायरिंग की तो सहम गये थे लोग
समालखा की वाल्मीकि बस्ती के सावन ने बताया कि उनके पिता सुनील कुमार शादी की गाडिय़ों को फूलों से सजाने का काम करते हैं। वह काम में भी हाथ बंटाता है। चाचा सतीश के बुलावे पर महेश अपने दो साथियों के साथ उसकी जन्मदिन पार्टी में शामिल हुए थे। डीजे बज रहा था। तभी महेश ने कई राउंड फायर कर दिये। इससे लोग सहम गए। पिता सुनील ने एतराज जताया और फिर कोई अनहोनी न हो, इसी वजह से डीजे को बंद करा दिया। डीजे बंद होने के बाद ही महेश और उसके साथियों को चाचा सतीश अपने मकान में पंजाबी मुहल्ला में ले गया। वह चाचा के कहने पर कोल्ड ड्रिंक व नमकीन लेकर चाचा के मकान पर गया था। तभी दिल्ली पुलिस ने छापा मार दी। उधर, समालखा पुलिस जांच कर रही है कि कहीं सतीश का आपराधिक रिकॉर्ड तो नहीं है।
पुलिस ने साजिश के तहत भाई को मार डाला
घटना की जानकारी मिलते ही महेश का भाई कृष्ण, फुफेरा भाई सोनीपत के फिरोजपुर निवासी संजीव कई परिजनों के साथ सामान्य अस्पताल पहुंचे और इसके बाद वे मौके पर भी गए। संजीव ने आरोप लगाया कि उसके भाई महेश का बुद्धविहार में 10000 गज के प्लाट का एक पूर्व पार्षद के साथ विवाद था। पुलिस ने अपहरण व फिरौती का झूठा मामला दर्ज कर भाई पर दो लाख रुपये का इनाम घोषित कर दिया। जबकि उसके भाई पर पहले आपराधिक मामले दर्ज नहीं हैं। पुलिस ने साजिश के तहत उसके भाई महेश को छत से फेंककर मार डाला। इस मामले की निष्पक्ष जांच हो।
ड्यूटी मजिस्ट्रेट न मिलने से नहीं हुआ पोस्टमार्टम, आज होगा
दिल्ली क्राइम ब्रांच के डीसीपी ज्वाय टिर्की, एसीपी अरविंद और इंस्पेक्टर मंगलवार को सामान्य अस्पताल पहुंचे। डीएसपी बिजेंद्र सिंह व समालखा चौकी प्रभारी कृष्ण कुमार शव का पोस्टमार्टम करवाने के लिए ड्यूटी मजिस्ट्रेट की नियुक्ति के लिए डीसी कार्यालय व निवास पर पहुंचे। शाम को समालखा के एसडीएम गौरव कुमार ड्यूटी मजिस्ट्रेट नियुक्त किये। उन्होंने मृतक के परिजनों को बयान लिये, लेकिन देरी होने के कारण पोस्टमार्टम नहीं हो पाया।
दीपक और सुरेंद्र ने की थी ब्रह्म सिंह की हत्या
ठेकेदार के साथी व दिल्ली के दरियापुर के सोनू गैंग के गुर्गे दीपक व सुरेंद्र ने 2006 में गैंगस्टर मोनू दरियापुर के गिरोह के बदमाश ब्रह्म सिंह की पंजाबी बाग क्षेत्र में हत्या कर दी थी। दोनों बदमाशों को उम्रकैद की सजा हो गई थी। पेरोल पर आने के बाद से दोनों बदमाश भाग गए थे।