विपत्ति में धैर्य रखने से समस्या हल होगी : सुभद्र मुनि
जैनाचार्य सुभद्रमुनि ने कहा कि धैर्यवान व्यक्ति उन्नति प्रगति पाता है। धैर्य आत्मा का गुण है। विपत्ति में अपने को धैर्य रखना स्थिर रखना समय का समाधान है। इससे समस्या दूर हो जाती है। आचार्य सुभद्र मुनि गांधी मंडी स्थित जैन स्थानक में प्रवचन कर रहे हैं।
जागरण संवाददाता, पानीपत : जैनाचार्य सुभद्रमुनि ने कहा कि धैर्यवान व्यक्ति उन्नति, प्रगति पाता है। धैर्य आत्मा का गुण है। विपत्ति में अपने को धैर्य रखना, स्थिर रखना समय का समाधान है। इससे समस्या दूर हो जाती है। आचार्य सुभद्र मुनि गांधी मंडी स्थित जैन स्थानक में प्रवचन कर रहे हैं। रविवार के अन्य प्रदेशों, शहरों सहित काफी संख्या में श्रद्धालु जैन संतों को दर्शन करने के लिए पहुंचे।
उन्होंने कहा कि मन चंचल है। धैर्य मन में नहीं है तो विपत्ति, दुख बढ़ जाते हैं। जो व्यक्ति जीवन में कोई बड़ा कार्य करना चाहता है तो उसमें धैर्य गुण का होना अति आवश्यक है। धैर्य मन में होने पर मनुष्य का जीवन सन्मार्ग पर चलता है। कितने व्यक्ति जल्दबाजी रखते हैं। उससे उनके कार्य बिगड़ जाते हैं।
सुभद्र मुनि ने कहा कि व्यक्ति जो सोचता है वह विचार बन जाता है। इसीलिए सदैव ऊंचा सोचो। गरीब अमीर नहीं बन सकता। इसके लिए उसे अमीर समझना है। अमीर जैसा व्यवहार करने होगा तभी वह अमीर बन सकता है। सदैव अपने से पूण्यहीन लोगों का सहयोग करो। पूण्यवान लोगों से अपेक्षा नहीं करना चाहिए। पुण्यहीन लोगों का सहयोग तो करो लेकिन उनसे संबंध न बनाएं।
अमित मुनि ने कहा कि सबसे अधिक नुकसान व्यक्ति को 'मैं' के कारण होता है। यही अहंकार की जड़ है। इस शब्द को भूलने पर ही सपने पूरे हो सकते हैं। जितने में भी सफल लोग हुए है। उन्हें मैं नाम की कोई चीज नहीं थी खासकर आध्यात्मिक जीवन में। एसएस जैन सभा के प्रधान जगदीश जैन ने बताया कि महाराज का अगला चातुर्मास दिल्ली में होगा। अभी जैन संत पानीपत में हैं। सभी को उनके दर्शन करने चाहिएं।