Move to Jagran APP

केबीसी में नीरज ने अमिताभ को सुनाया हरियाणवी अंदाज, कहा, ये तेरे बापण का घर कोणी, थाना है, चुपचाप खडय़ा रै

पानीपत के रहने वाले स्‍टार जैवलिन थ्रोअर नीरज चोपड़ा और हाकी टीम के गोलकीपर पी श्रीजेश ने केबीसी शो में खूब धमाल मचाया। दोनों की जोड़ी ने 25 लाख रुपये जीते। नीरज ने हरियाणवी में डायलाग सुनाया ये तेरे बापण का घर कोणी थाना है चुपचाप खडय़ा रै।

By Anurag ShuklaEdited By: Published: Sat, 18 Sep 2021 10:29 AM (IST)Updated: Sat, 18 Sep 2021 10:29 AM (IST)
नीरज और श्रीजेश ने केबीसी में जीते 25 लाख।

पानीपत, जागरण संवाददाता। स्टार जैवलिन थ्रोअर नीरज चोपड़ा और हाकी टीम के गोलकीपर पी श्रीजेश ने कौन बनेगा करोड़पति (केबीसी) में 25 लाख रुपये जीत लिए। ये राशि उन्होंने संस्था को दान की है। इससे पहले दोनों खिलाडिय़ों ने अपने संघर्ष की कहानी सुनाई। नीरज चोपड़ा ने अमिताभ बच्चन को हरियाणवी में बोलना सिखाया। टोक्यो ओलिंपिक में जीते गए मेडल हाथ में लेकर अमिताभ भावुक भी हो गए।

loksabha election banner

नीरज चोपड़ा से पूछा कि उन्होंने जैवलिन खेल को ही क्यों चुना तो उन्होंने कहा- मैं बहुत मोटा था। पढ़ाई में भी इतना होशियार नहीं था। तब चाचा ने पूछा कि खेल में जाएगा या पढ़ाई करेगा। तब मैंने कह दिया कि पढ़ाई करूंगा। चाचा ने हंसते हुए कहा, पता है कि कितनी पढ़ाई करेगा। तब उन्होंने मोटापा कम करने के लिए स्टेडियम में भेज दिया। अपने सीनियर खिलाडिय़ों को भाला फेंकते हुए देखा तो मैंने भी प्रयास किया। मुझे ये अच्छा लगा। सीनियर जय (सबसे पहले कोच जयवीर) ने मुझसे कहा कि तू हमारे साथ आजा। तभी से भाला फेंकने लगा। ऐसा कुछ नहीं था कि ओलिं‍पिंक खेलूंगा। सच्चे मन से मेहनत करता गया। लक्की हूं कि परिवार और सीनियर की ओर से गाइडेंस मिलती गई और देश के लिए गोल्ड जीत पाया।

श्रीजेश ने बताया कि हाकी को लेकर कभी गंभीर नहीं था। लेकिन जब बताया गया कि खेलने से ग्रेस माक्र्स मिलते हैं तो किसी न किसी खेल में भाग लेने का मन बनाया। बस हाकी उठा ली। हां, गोलकीपर बनने की कहानी अलग है। हाकी के मैदान पर देखता था कि गोलकीपर को भागना नहीं पड़ता। आराम से खड़े रहते हैं। ये काम आसान लगा। बस, तभी से गोलकीपर बनने की ही ठान ली। श्रीजेश ने बताया कि वह तो कई बार गोलपोस्ट से बातें भी करते हैं। अकेले खड़े-खड़े बोर हो जाते हैं। गोलकीपर को दोस्त बना लिया। इसलिए जब मैच जीता तो गोलपोस्ट पर बैठ गया।

हरियाणवी में डायलाग और गीत

'मैं और मेरी तन्हाई' गीत को नीरज हरियाणवी भाषा में सुनाते हैं। अमिताभ कहते हैं कि उन्होंने एक फिल्म में हरियाणवी बोलने का प्रयास किया था। उनके लिए काफी कठिन रहा। अमिताभ का ही डायलाग नीरज बोलते हैं, ये तेरे बाप का घर कोणी, थाना है। चुपचाप खडय़ा रै। अमिताभ बच्चन इस डायलाग को हरियाणवी में बोलते हैं। वैसे, दोनों अगर एक करोड़ तक रकम जीतते तो इन्हें कार मिलती। पर शो का समय ही खत्म हो गया। शो शुरू होते ही भारत माता के जयकारे लगे।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.