भारत बंद के दौरान नजर नहीं आए, अगले दिन चौक चौराहों पर मुस्तैद हुई करनाल पुलिस
करनाल शहर की सुरक्षा व्यवस्था कैसी है। इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि जिस दिन दलित समुदाय की ओर से भारत बंद का ऐलान था। उस दिन पुलिस प्रशासन सुस्त नजर आया। सुबह बाजार भी खुले। प्रदर्शन शुरू होने के बाद एकाएक दुकानों के शट्टर भी नीचे गिरे। लेकिन पुलिस ने कोई चुस्ती नहीं दिखाई।
जागरण संवाददाता, पानीपत : करनाल शहर की सुरक्षा व्यवस्था कैसी है। इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि जिस दिन दलित समुदाय की ओर से भारत बंद का ऐलान था। उस दिन पुलिस प्रशासन सुस्त नजर आया। सुबह बाजार भी खुले। प्रदर्शन शुरू होने के बाद एकाएक दुकानों के शटर भी नीचे गिरे। लेकिन पुलिस ने कोई चुस्ती नहीं दिखाई। पुलिस की सुस्ती के कारण ही प्रदर्शनकारी शहर के बाजारों और जिला मुख्यालय से होते हुए हाईवे तक पहुंच गए। जहा करीब सात घटे तक जाम रहा।
इसके बाद रेलवे ट्रैक पर बैठकर उन्होंने रेल भी रोकी। लेकिन जब ज्यादातर प्रदर्शनकारी शाम को अपने घरों में लौट गए, तो पुलिस अलर्ट हुई। वहीं अब मंगलवार को सुबह से पुलिस प्रशासन चुस्त दिखाई दे रहा। जगह-जगह पुलिस ने नाकाबंदी की हुई है। संदिग्ध लोगों से पूछताछ का भी की जा रही है। वहीं बिना हेलमेट वाले वाहन चालकों को चालान भी थमाए जा रहे है। ऐसे में शहरवासियों को दूसरे दिन भी सिवाय परेशानी झेलनी पड़ेगी। सोमवार को जहा लोग प्रदर्शनकारियों के खोफ से घरों से बाहर नहीं निकले। वहीं अब दूसरे दिन पुलिस की सख्ती और चालान का डर लोगों के मन में है।