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अटल अजातशत्रु थे, राम राज्य की कल्पना ही सुशासन : संजय

पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती को जिला प्रशासन ने सुशासन दिवस के रूप में मनाया। डिजिटलीकरण को बढ़ावा देने के लिए मुख्यमंत्री सुशासन सहयोगी (सीएमजीजीए) सुनैना सहित विभिन्न विभागों के दो दर्जन से अधिक कर्मचारियों को सम्मानित किया गया। वीडियो कांफ्रेंस के जरिए मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कई घोषणाएं की। उनके सम्बोधन को सुनकर कई बार हॉल में ठहाके भी गूंजे।

By JagranEdited By: Published: Thu, 26 Dec 2019 07:39 AM (IST)Updated: Thu, 26 Dec 2019 07:39 AM (IST)
अटल अजातशत्रु थे, राम राज्य की कल्पना ही सुशासन : संजय

जागरण संवाददाता, पानीपत : पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती को सुशासन दिवस के रूप में मनाया गया। डिजिटलीकरण को बढ़ावा देने के लिए मुख्यमंत्री सुशासन सहयोगी (सीएमजीजीए) सुनैना सहित विभिन्न विभागों के दो दर्जन से अधिक कर्मचारियों को सम्मानित किया गया। वीडियो कांफ्रेंस के जरिए मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कई घोषणाएं की। उनके संबोधन के दौरान कई बार हॉल में ठहाके भी लगे।

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मुख्य अतिथि करनाल लोकसभा सांसद संजय भाटिया ने पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी और स्वर्गीय मदन मोहन मालवीय को महान नेता बताया। उन्होंने कहा कि अटल अजातशत्रु थे। सभी दलों के नेता उनका सम्मान करते थे। राम राज्य की कल्पना ही सुशासन है। पैसे वालों की जेब में न्याय होगा तो इसे सुशासन नहीं कह सकते। जीएसटी, नोटबंदी, ऑनलाइन सिस्टम से भ्रष्टाचार बहुत हद तक खत्म हुआ है। पूरी तरह खत्म करने के लिए आज सभी संकल्प ले सकते हैं।

ग्रामीण विधायक महिपाल ढांडा ने कहा कि स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती को पूरे देश में सुशासन दिवस के रूप में मनाकर उनकी अमूल्य सेवाओं का सम्मान कर रहे हैं।

इससे पूर्व डीसी सुमेधा कटारिया ने कहा कि वर्ष 2014 से सुशासन दिवस मनाते रहे हैं। सभी की तुरंत सुनवाई हो, शिकायतों का समय से निस्तारण हो इसके लिए पानीपत टीम दृढ़ संकल्प है। एडीसी प्रीति ने कहा कि सरकार ने सुशासन को फेसलेस, कैशलेस, पेपरलेस करने की जिम्मेदारी उठाई है। लोक सेवा नागरिकता कानून में भी हर काम का टाइम निश्चित किया गया है। इस यज्ञ में जिले के अधिकारी-कर्मचारी आहूति दें।

इस मौके पर पूर्व मंत्री कृष्णलाल पंवार, नगर निगम कमिश्नर ओमप्रकाश, एसपी सुमित कुमार, जिला परिषद की सीईओ सुमन भांखड़, डीएसपी सतीश वत्स, जजपा नेता देवेंद्र कादियान, भाजपा के कार्यकारी जिलाध्यक्ष देवेंद्र दत्ता, जिला बार एसोसिएशन के प्रधान शेर सिंह खर्ब आदि मौजूद रहे। शुभारंभ और सीएम की घोषणाएं

-प्रदेश के सभी 22 जिलों की वेबसाइट का शुभारंभ।

-लाल डोरा मुक्त होंगे गांव, डिजीटल मैप बनेगा।

-सरल पोर्टल, अंत्योदय केंद्र में 42 नई सेवाएं बढ़ी, अब 527 हुईं।

-लोकायुक्त पोर्टल बनाया जाएगा।

-91 तहसीलों के वेब हेलरिस (एक छत के नीचे स्टांप, रजिस्ट्री, इंतकाल कार्य) का शुभारंभ।

-कागजात रखने को इलेक्ट्रोनिक लॉकर बनेंगे।

-प्रत्येक जिले में हर विभाग के तीन कर्मचारी सम्मानित होंगे।

-सुशासन के संबंध में सुझाव के लिए पोर्टल बनेगा।

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अब तहसीलदार नहीं उठाते खर्च

सीएम ने एक किस्सा सुनाते हुए कहा कि एक कार्यक्रम में बहुत अच्छा जलपान मिला। खर्च कौन करेगा? यह पूछने पर बताया कि तहसीलदार। किस मद से करेंगे? इसका उत्तर डीसी भी नहीं दे सके। इतने में ही जान लिया कि तहसीलदार 500 के 5000 करते होंगे। यह सुनते ही हॉल में ठहाके गूंजे। साहब! राजनीतिक हस्तक्षेप से कैसे निपटें

वीडियो कांफ्रेंसिग के दौरान फतेहाबाद के एक कर्मचारी ने सीधे सीएम से पूछा लिया कि कामकाज में राजनीतिक हस्तक्षेप से कैसे निपटें। सवाल सुनते ही हॉल में बैठे नेता और अधिकारी एक-दूसरे का चेहरा देख हंसने लगे। मुख्यमंत्री ने दो टूक कहा कि जनप्रतिनिधि के पास लोग उम्मीद लेकर पहुंचते हैं, काम वही करो जो नियम के विरुद्ध न हो। सोशल मीडिया पर कैसे रोक लगे

करनाल के कल्पना चावला मेडिकल कॉलेज की डॉ. मीनाक्षी पुरी ने पूछा कि सोशल मीडिया पर हम सभी के अकाउंट हैं। उन पर अनाप-शनाप मैसेज चलते रहते हैं, कैसे रोकें? मुख्यमंत्री ने कहा कि अभी ऐसा कोई कानून नहीं बना। केंद्र सरकार इस पर काम कर रही है। जनभावना को भड़काने, मानसिक आघात पहुंचाने वाले मैसेज भेजने वाले के खिलाफ कार्रवाई संभव है।


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