जेल से ही हत्या कराने चाहते थे गैंगस्टर पंपू और सुल्तान
पुलिस की प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि राकेश उर्फ पंपू व सुल्तान ने मोबाइल फोन का इस्तेमाल कर किसी व्यक्ति की हत्या करानी थी। सीआइए-टू रिमांड के दौरान दोनों बदमाशों से पूछताछ करेगी।
जागरण संवाददाता, पानीपत : गैंगस्टर सिवाह के राकेश उर्फ पंपू और सेक्टर-29 के सुल्तान को पानीपत जेल से प्रोडक्शन वारंट पर लेकर अदालत में पेश किया गया, जहां से उन्हें तीन दिन की रिमांड पर लिया गया है। पंपू पर हत्या, हत्या के प्रयास सहित 12 मामले दर्ज हैं। सुल्तान पर हत्या का केस दर्ज है।
30 मार्च 2020 को पानीपत जेल की बैरक से दो मोबाइल फोन बरामद किए गए थे। इनका इस्तेमाल राकेश, सुल्तान, बरेली के मेहतार गांव के रहीश और ब्राह्मण माजरा गांव के राकेश उर्फ फौजी ने किया था। पुलिस की प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि राकेश उर्फ पंपू व सुल्तान ने मोबाइल फोन का इस्तेमाल कर किसी व्यक्ति की हत्या करानी थी। सीआइए-टू रिमांड के दौरान दोनों बदमाशों से पूछताछ करेगी कि उनके पास मोबाइल किसने पहुंचाए, उस स्थान की निशानदेही कराई जाएगी जहां पर मोबाइल फोन छिपा रखे थे। किसी जेल कर्मचारी की तो मिलीभगत नहीं थी। किस व्यक्ति की हत्या कराई जानी थी। इसका भी पता लगाया जा रहा है। पहले भी सिवाह के सरपंच खुशदिल की हत्या की साजिश रची थी
सिवाह के गैंगस्टर राकेश उर्फ पंपू साथियों के साथ मिलकर 7 नवंबर 2015 में सिवाह के सरपंच खुशदिल के चचेरे भाई व चाचा की हत्या कर दी थी। पुलिस के अनुसार मामले में खुशदिल मुख्य गवाह है। वह सरपंच को रास्ते से हटना चाहता है। पंपू के इशारे पर उसके गुर्गे रोहिणी के साहिल, अमन, बड़ौता के गोविद, गन्नौर के आजाद, गुढ़ा के राहुल और सोनीपत के तेवड़ी के गुरनेम उर्फ मोटा उर्फ ने दो पिस्तौल, तीन तमंचे और 10 कारतूस खरीद लिए थे। उन्होंने सरपंच खुशदिल की हत्या करनी थी। इससे पहले 3 दिसंबर 2018 को सोनीपत ने उक्त बदमाशों को गिरफ्तार कर लिया था।