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दो हजार किलो मीट से भरी पिकअप पकड़ी, एएसआइ ने 20 हजार रुपयेले 400 किलो मीट देकर छोड़ी

मीट व्यापारियों ने पुलिस पर लगाए आरोप। 1.70 लाख रुपये का मीट खराब हो गया।

By JagranEdited By: Published: Mon, 26 Aug 2019 08:58 AM (IST)Updated: Mon, 26 Aug 2019 08:58 AM (IST)
दो हजार किलो मीट से भरी पिकअप पकड़ी, एएसआइ ने 20 हजार रुपयेले 400 किलो मीट देकर छोड़ी
दो हजार किलो मीट से भरी पिकअप पकड़ी, एएसआइ ने 20 हजार रुपयेले 400 किलो मीट देकर छोड़ी

जागरण संवाददाता, पानीपत : एंटी काउ स्टाफ ने रविवार सुबह छाजपुर के पास गोवंश का मीट होने की आशंका पर पिकअप को पकड़ लिया। गाड़ी में दो हजार किलो मीट भरा था। मीट व्यापारियों ने आरोप लगाया कि एंटी काउ स्टाफ के एएसआइ नरेश ने 20 हजार रुपये लेकर 400 किलो मीट गोसअली में उनकी दुकान पर उतरवा दिया। इसके बाद नरेश ने कॉल कर सनौली थाने के एएसआइ राजबीर सिंह को मीट की जांच के लिए भेज दिया, ताकि वह भी उनसे वसूली कर सके। व्यापारियों ने दो घंटे तक अस्पताल में हंगामा कर एएसआइ राजबीर सिंह को खरी-खोटी सुनाई। रिश्वत मांगने का आरोप लगाया। पशु अस्पताल व सिविल अस्पताल के डॉक्टरों की जांच में भैंस का मीट निकला। इसके बाद पुलिस ने 1600 किलो मीट व्यापारियों को सौंप दिया। इसमें से 1.70 लाख रुपये की कीमत का करीब 1200 किलो मीट खराब हो गया। सनौली थाने के कार्यकारी प्रभारी रमेश कुमार ने बताया कि मीट व गाड़ी व्यापारी को सौंप दी है। एएसआइ राजबीर ने रिश्वत नहीं मांगी है।

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5 जून को भी एएसआइ राजबीर ने की थी 25 हजार की वसूली

मीट व्यापारी गोसअली के पप्पू के बेटे महरोज, गोसअली के इदरीश, मुहल्ला इमाम साहब के रियासत और हाली कॉलोनी के बिलाल ने बताया कि रविवार सुबह करीब सात बजे उत्तर प्रदेश के कैराना से पिकअप में दो लाख 70 हजार रुपये की कीमत का 2000 किलो भैंस का मीट लेकर पानीपत आ रहा था। प्रत्येक का 500-500 किलो मीट था। इसका लाइसेंस व रशीद उनके पास थी। छाजपुर के पास एंटी काउज स्टाफ के एएसआइ नरेश ने मीट गोवंश का बताकर पकड़ लिया। उन्होंने रशीद दिखाई, लेकिन नहीं माना। एएसआइ ने उनसे 20 हजार रुपये वसूले और 400 किलो मीट उन्हें दे दिया। इसके बाद पिकअप को पशु अस्पताल में ले जाया गया। डॉक्टर ने मीट भैंस का बताया। गाड़ी सामान्य अस्पताल में लाई गई। यहां पर सनौली थाने के एएसआइ राजबीर सिंह पहुंचे गए। राजबीर सिंह ने 5 जून को भी उनका मीट पकड़ा था। तब 25 हजार रुपये लेकर खाली गाड़ी छोड़ दी थी। गाड़ी का चालान नहीं किया था। नहीं ली थी रिश्वत, जायज कार्रवाई की थी

एएसआइ राजबीर सिंह ने बताया कि 5 जून को एंटी काउज स्टाफ ने मीट पकड़ा था। मीट खाने लायक नहीं था। इसी वजह से कोर्ट के आदेश पर मीट को नष्ट करा दिया था। गाड़ी छोड़ने के लिए मीट व्यापारी से रिश्वत नहीं ली थी। आरोप बेबुनियाद हैं। वर्जन

एएसआइ द्वारा मीट व्यापारियों से 20 हजार रुपये लेकर मीट देने की शिकायत नहीं मिली है। शिकायत मिलेगी तो जांच करके आरोपितों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

सतीश कुमार वत्स, डीएसपी मुख्यालय।


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